बैठक में संघ अध्यक्षों द्वारा शिक्षकों को बीएलओ के कार्य से मुक्त रखने की मांग भी की। कलेक्टर ने कहा 7 फरवरी तक जो बीएलओ जहां हैं, वहीं पर काम करेंगे। इसके बाद उन्हें बदलने पर विचार होगा। जिले में कर्मचारियों व अमले की कमी है। इसे ध्यान में रखते हुए बीएलओ को कार्यमुक्त करना संभव नहीं।
कलेक्टर ने कहा- विज्ञान और गणित विषयों के शिक्षकों को बीएलओ से मुक्त करने पर विचार किया जाएगा। इसके अलावा जनपदों में कार्यरत कर्मचारियों को बीएलओ में संयोजित किया जा सकता है। जो शिक्षक जिस गांव में है, वहीं पर बीएलओ का सौंपा जाएगा।
-3 वर्षों से छात्रावासों में जमे अधीक्षकों को पढ़ाने का अवसर दिया जाए।
-अन्य विभाग के कर्मचारी को दूसरे में रिडिप्लायमेंट करने की जानकारी दी जाए।
-सभी डीडीओ शिक्षकों व कर्मचारियों को फार्म नंबर.16 अनिवार्य रूप दें।
-अनुकंपा नियुक्ति के प्रकरणों का समय पर निराकरण हो।
-अध्यापकों के जीआईएस राशि कटवाई जाए।
-एक वर्ष में दो बार डीपीसी आयोजित की जाए।