जानकारी के अनुसार, जिले के ऊन में गणगौर उत्सव के दौरान माता के विसर्जन के आयोजन में साबूदाने की खिचड़ी खाने से 65 लोग फूड पॉइजनिंग का शिकार हो गए। एक साथ बडी संख्या में मरीजों की खबर मिलने से हडकंप मच गया। ग्रामीणों ने इसकी जानकारी कलेक्टर शिवराज सिंह वर्मा को दी। कलेक्टर के निर्देश पर सीएमएचओ डीएस चौहान डॉक्टरों की टीम के साथ ऊन पहुंच। उल्टी दस्त के शिकार करीब 65 मरीजों में से 35 मरीज को देर रात में ही उपचार के बाद छुट्टी दे दी। 15 बीमार लोगों का ऊन के अस्पताल में इलाज चल रहा है। वहीं, 15 लोगों को खरगोन के जिला अस्पताल पहुंचाया गया। हालांकि, जानकारी सामने आई है कि, उपचार करा रहे सभी लोगों की हालत स्थिर है।
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एक घंटे बाद शुरु हो गए उल्टी-दस्त
वहीं मौके पर तहसीलदार समेत प्रशासनिक अमला भी पहुंच गया। बताया जा रहा है कि, ऊन में गणगौर उत्सव के दौरान माता का विसर्जन था। इस दौरान साबूदाने की खिचड़ी का स्टाल लगाया गया था। साबूदाने की खिचड़ी खाने के करीब एक घंटे बाद ही ग्रामीण में उल्टी – दस्त की शिकायत शुरु हो गई। बीमारों में बड़ी संख्या में बच्चे शामिल थे। उल्टी दस्त के शिकार खरगोन जिला अस्पताल में भर्ती ग्रामीण मनोज प्रजापति का कहना है कि, गणगौर विसर्जन के दौरान साबूदाने की खिचड़ी खाई थी। अचानक उल्टी दस्त होना शुरु हो गए। उनका कहना है कि, खिचड़ी खाने वाले बड़ी संख्या में लोग बीमार हैं।
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क्या कहते हैं चिकित्सक ?
ग्रमीणों का कहना है कि, खिचड़ी के कारण ही उल्टी दस्त शुरु हुए हैं। इधर जिला अस्पताल के सिविल सर्जन डॉ अमरसिह चौहान का कहना है कि, ऊन में फूड पॉइजनिंग की शिकायत के बाद जिला अस्पताल में 15 मरीजों को लाया गया। उपचार के बाद सभी की हालात स्थिर है। ऊन में 15 मरीज भर्ती है। करीब 35 मरीजों की छुट्टी की जा चुकी है। मरीजो में बच्चों की संख्या अधिक हैं। करीब 65 मरीजों की फूड पॉइजनिंग के शिकार होने की जानकारी सामने आई है।