कमिश्नर ने निरीक्षण करते हुए जताई नाराजगी कमिश्नर पवन शर्मा ने मंगलवार ऑक्सीजन प्लांट का अवलोकन किया। ओर जनसहयोग से लगे इस ऑक्सीजन प्लांट के स्थल चयन पर जिम्मेदारों को फटकार लगी । ऑक्सीजन प्लांट को खुले में लगाया जाना, खुले में पैनल लाइन का होना घातक हो सकता है । हालांकि एसडीएम संघप्रिय ने जिला प्रशासन को विश्वास में लेने और कोरोना महामारी के मद्देनजर बने हालातों को देखकर क्षेत्रीय विधायक एजनप्रतिनिधियों और दानदाताओं की मंशा को ध्यान में रखकर निर्णय लिया। लेकिन सामुदायिक भवन स्थल का चयन कमिश्नर को रास नहीं आया । सोचने वाली बात यह भी है कि आनन-फानन में लिए निर्णय में नेशनल ग्रीन ट्यूबनल के नियमों का कितना पालन हुआ। ऑक्सीजन प्लांट की जरूरत के लिए क्या स्टाफ को ट्रेनिंग दी गई है। साथ ही खुले में रखे इस ऑक्सीजन प्लांट की सुरक्षा के मद्देनजर क्या कदम उठाए है । वही खुद कमिश्नर ने इस ऑक्सीजन प्लांट की उपयोगिता बिना एमडी डॉक्टर के नहीं होना बता दिया।
जल्द हो एमडी डॉक्टर की नियुक्ति सामुदायिक स्वास्थ्य अस्पताल डॉक्टरों की भारी कमी से जूझ रहा है। जिसे लेकर कई बार जनप्रतिनिधियों ओर आम जनता ने शासन-प्रशासन से मांग की लेकिन अभी तक डॉक्टरों की कमी खल रही। आएदिन मरीजों का या तो जिला अस्पताल रेफर किया जाता है या फिर इंदौर। समाजसेवी चेतन चौहान ने कहा कि हमारे यहां क्षेत्रीय विधायक के प्रयासों से स्वास्थ्य सुविधाओं में तो वृद्धि हुई हैं मगर डॉक्टर स्टाफ की कमी दूर नहीं हो पा रही। ऐसे में सरकार को चाहिए कि कसरावद बड़ा सेंटर होने से यहां एमडी डॉक्टर की नियुक्ति अनिवार्य रूप से की जाए।