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बारिश अच्छी क्या हुई, इनकी हुई बम्पर बिक्री

locationकिशनगढ़Published: Aug 26, 2019 12:01:10 pm

Submitted by:

kali charan

किशनगढ़ में इस बार हुई पौधों की अधिक हुई बिक्रीअब तक 39 हजार से ज्यादा पौधे बिके

बारिश अच्छी क्या हुई, इनकी हुई बम्पर बिक्री

बारिश अच्छी क्या हुई, इनकी हुई बम्पर बिक्री

पत्रिका न्यूज नेटवर्क
मदनगंज-किशनगढ़. क्षेत्र इस बार ज्यादा हरा भरा होगा। क्योंकि इस बार वन विभाग ने पौधों की रिकॉर्ड बिक्री की है। पौधरोपण के प्रति आई जागरूकता और बारिश को इस बम्पर बिक्री का कारण बताया जा रहा है। इसके चलते वन विभाग ने इस बार 39 हजार से ज्यादा पौधे बेचे है। इनमें सबसे ज्यादा मांग 3 से 8 फुट के पौधों की रही।
किशनगढ़ उपखण्ड क्षेत्र में वन विभाग की दो नर्सरी है। इन नर्सरी में स्टेट कैम्पा, जैव विविधता और फार्म विद्या योजना के अंतर्गत पौधे तैयार किए गए थे। स्टेट कैम्पा में 3 से 5, 5 से 8 , 8 से 10 और 10 फीट से ज्यादा ऊंचाई के पौधे तैयार किए गए। वहीं फार्म विद्या योजना में 3 से 5 फीट के पौधे तैयार किए गए। इनमें से फार्म विद्या योजना के पौधे एक रुपए में दिए गए। अन्य योजना में तैयार पौधों की कीमत उनकी ऊंचाई के हिसाब से अलग-अलग रखी गई थी। इनमें से लोगों का सबसे ज्यादा रूझान 3 से 5 फीट के पौधों के प्रति रहा। पौधरोपण के दौरान इनकी जमकर बिक्री हुई। अकेले किशनगढ़ स्थित चिडिय़ा बावड़ी नर्सरी से 26 हजार से ज्यादा पौधों की बिक्री की गई। इससे विभाग को लाखों रुपए के राजस्व की प्राप्ति हुई। 13 हजार से ज्यादा पौधे स्टेट कैम्पा स्कीम के अंर्तगत बिके। वहीं फार्म वन विद्या में भी पौधों की अच्छी बिक्री हुई। इसमें 9 हजार से ज्यादा पौधे बेचे गए। लेकिन कीमत एक रुपए होने के कारण इस श्रेणी में राजस्व की आवक कम रही। जैव विविधता में पौधे सबसे कम बिके। इसी तरह बनेवड़ी नर्सरी में केवल स्टेट कैम्पा योजना में ही पौधे बेचे गए। यहां साढ़े 12 हजार हजार से ज्यादा पौधे बेचकर अच्छा राजस्व प्राप्त हुआ।
ऊंचाई के अनुसार होती है कीमत
विभाग की ओर से 3 से 5 फीट के पौधे 15 रुपए, 5 से 8 फीट के 40, 8 से 10 फीट के 55 और 10 फीट से ज्यादा ऊंचाई के पौधे 70 रुपए में दिए जाते है।
पौधरोपण के प्रति बढ़ी जागरूकता
बीते एक पखवाड़े से पौधरोपण के प्रति लोगों में जागरूकता बढ़ी है। स्वयंसेवी संस्थाओं, स्कूलों और विभागों की ओर से बढ़चढ़ कर पौधरोपण में भाग लिया गया। लोगों ने अपने जन्मदिन और वर्षगांठ पर भी पौधरोपण किया। इसके चलते पौधरोपण बढ़ा।
अमर सिंह, रेंजर किशनगढ़
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