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गरियाहाट अग्निकांड: आग बुझाने की राह में हॉकर, होर्डिंग और तार बने रोड़ा

locationकोलकाताPublished: Jan 23, 2019 06:09:26 pm

Submitted by:

Jyoti Dubey

महानगर के व्यवसाइयों के मन से बागड़ी अग्निकांड की दहशत अभी खत्म भी नहीं हुई कि एक बार फिर गरियाहाट के बहुमंजिला मकान में भयावह आग लगा गई। दमकल कर्मियों से इस बारे में बात करने पर पता चला कि गरियाहाट की इस बहुमंजिला इमारत की आग तक पहुंचने में उनके सामने इमारत के चारों ओर लगे विज्ञापनों के होर्डिंग, इमारत के नीचे हॉकरों की लंबी तादाद और मकड़े के जालों की तरह फैले तारों ने बाधा उत्पन्न की।

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गरियाहाट अग्निकांड: आग बुझाने की राह में हॉकर, होर्डिंग और तार बने रोड़ा

– एमआईसी ने कहा, होर्डिंग लगाने पर दमकल के नियमों का किया जाएगा पालन

कोलकाता. महानगर के व्यवसाइयों के मन से बागड़ी अग्निकांड की दहशत अभी खत्म भी नहीं हुई कि एक बार फिर गरियाहाट के बहुमंजिला मकान में भयावह आग लगा गई। 19 दमकलों के 11 घंटे के प्रयास के बाद भले ही इस बिल्डिंग में लगी आग बुझ गई मगर सवाल यही उठता है कि आखिरकार इतना समय क्यों लग गया? दमकल कर्मियों से इस बारे में बात करने पर पता चला कि गरियाहाट की इस बहुमंजिला इमारत की आग तक पहुंचने में उनके सामने इमारत के चारों ओर लगे विज्ञापनों के होर्डिंग, इमारत के नीचे हॉकरों की लंबी तादाद और मकड़े के जालों की तरह फैले तारों ने बाधा उत्पन्न की। उन्होंने कहा कि होर्डिंग की वजह से मौके पर तक पहुंचने में दमकलकर्मियों को परेशानी हो रही थी। जब तक दमकल कर्मी एक तरफ होर्डिंग हटाते तब तक दूसरी ओर लगे होर्डिंग में आग लग जाती थी। घटना की जानकारी मिलते ही रविवार को घटनास्थल का जायजा लेने पहुंचे एमआईसी(पार्क एंड स्क्वायर) देवाशीष कुमार ने कहा कि होर्डिंग पर उठे सवाल को लेकर दमकल से चर्चा की जाएगी। आने वाले दिनों में शहर भर में होर्डिंग लगाने से पूर्व दमकल से एक नियमावली बनाने का आग्रह किया जाएगा और निगम उसी के आधार पर होर्डिंग लगाएगा। उन्होंने कहा कि इमारत के चारों ओर लगे विज्ञापनों के होर्डिंग वैध थे या नहीं इसकी जांच की जा रही है। गौरतलब है कि इस अग्निकांड से सबके लेते हुए शायद निगम शहर के बाजारों की इमारतों पर विज्ञापनों की होर्डिंग लगाने पर रोक लगा सकता है।
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– अब तक नहीं पूरा हुआ फायर ऑडिट

गत 16 सितम्बर 2018 को बागड़ी मार्केट में आग लगने के बाद तत्कालीन मेयर शोभन चटर्जी के नेतृत्व में सीईएससी, दमकल, निगम व केपी की उच्चस्तरीय बैठक की गई थी। बैठक में इन सभी विभागों के अधिकारियों को शहर के सरकारी व निजी बाजारों के फायर ऑडिट करने का निर्देश दिया गया था। उल्लेखनीय है कि बागड़ी अग्निकांड को बीते 4 महीने हो गए लेकिन अब तक इस टीम का फायर ऑडिट पूरा नहीं हुआ है। निगम सूत्रों के अनुसार निगम अधिकारियों ने केएमसी के बाजारों के अलावा अब तक केवल 20 निजी बाजारों का सर्वेक्षण किया है। जिसमें से हाथीबगान स्थित हरिशाहा बाजार, जग्गुबाबू बाजार, चेतला बाजार जैसे कई ऐसे बड़े बाजार हैं जिनमें अग्निशमन की कोई खास व्यवस्था नहीं है। निगम के एक अधिकारी ने बताया कि निगम की ओर से ऑडिट किए गए सभी बाजारों की रिपोर्ट तैयार कर ली गई है। सीईएससी ने भी कई बाजारों की रिपोर्ट भेजी हैं पर अब तक दमकल की ओर से कोई रिपोर्ट न मिलने के कारण वे यह रिपोर्ट पेश नहीं कर पाए हैं। वहीं दमकल विभाग से मिली जानकारी के अनुसार बाजारों में ऑडिट चलाया जा रहा है। गणतंत्र दिवस बाद जल्द यह रिपोर्ट पेश की जाएगी।

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