सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार बारुईपुर के एसओजी ने खुफिया सूचना पर इलाके में कपड़ों के व्यवसाय की आड़ में अवैध रूप से हथियार बनाने का काम कर रहे कारखाने पर छापेमारी की। सादी पोषाक में पहुंची टीम ने कारखाने से 3 बड़ी पाईपगन, 3 छोटी पाईपगन, 146 कारतूस, 55 कार्टिज और भारी मात्रा में अद्र्धनिर्मित असलहे व हथियारों के बनाने के औजार बरामद किए।
बारुईपुर स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप के थाना प्रभारी एलके विश्वास ने बताया कि उन्हें खबर मिली थी कि अब्दुल कपड़ों की सिलाई-बुनाई की आड़ में हथियार का कारखाना चला रहा है। जिसके बाद उन्होंने अभियान चलाकर उसे गिरफ्तार किया। उन्होंने बताया कि पूछताछ में अब्दुल काहारन ने बताया है कि वह 10-15 सालों तक बिहार के मुंगेर जिले में रह चुका है। वह वहां काठमिस्त्री का काम करने के साथ ही हथियार बनाना भी सीख चुका था। कुछ सालों पहले जब वह बंगाल लौटा तो उसने अपने घर में ही इस धंधे को चालू कर दिया।
हालांकि वह हथियारों को बनाने का उपकरण कहां से लाता था और कहां सप्लाई करता था? इसका अब तक पता नहीं चल पाया है। पुलिस को संदेह है कि इस कारखाने का सम्बंध कहीं न कहीं मुंगेर से जुड़ा हुआ है। पुलिस गिरफ्तार अपराधियों से पूछताछ कर इस बारे में जानकारी इकट्ठा करने की कोशिश कर रही है।