राज्य के शिक्षामंत्री और तृणमूल कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव पार्थ चटर्जी ने कहा कि वाजपेयी के निधन की खबर सुनते ही ममता बनर्जी अपनी बैठक रद्द कर उन्हें श्रद्धांजलि देने के लिए दिल्ली गईं। उनके परिवार के लोगों से मिली और उन्हें श्रद्धांजलि दी। एक बार उन्होंने श्रद्धांजलि दे ही दी है। वे प्रदेश भाजपा की सभा में नहीं जाएंगी। ममता बनर्जी ने वाजपेयी की श्रद्धांजलि सभा के लिए महाजाति सदन नि:शुल्क उपलब्ध कराने को कहा है। वाम मोर्चा ने भी प्रदेश भाजपा की ओर से श्रद्धांजलि सभा में जाने से इनकार कर दिया है।
देर रात को उन्होंने कहा कि भाजपा की विदायी यात्रा का घंटा बज चुका है। अटल बिहारी बाजपेयी के निधन के बाद उनको ले कर जो चल रहा है वो बहुत ही अपमानजनक है। इस दौरान उन्होंने आरएसएस पर वार करते हुए कहा कि ये आरएसएस पहले वाला आरएसएस नहीं है। ममता बनर्जी के बाजपेयी की श्रद्धांजली सभा में जाने से मना करने के बाद वाम मोर्चा ने भी बाजपेयी की श्रद्धांजली सभा में जाने से इनकार कर दिया। वाम मोर्चा विधायक दल के नेता सुजय चक्रवर्ती ने कहा कि तृणमूल कांग्रेस और भाजपा में गुप्त सांठगांठ है। दीदी भाई (ममात बनर्जी) और मोदी भाई में गुप्त तालमेल है। ममता बनर्जी ने भाजपा को मदद करने के लिए ही फेडरल फ्रंट की पहल की है।