कोलकाता. मानिकतल्ला ईएसआई अस्पताल में बच्चा बदलने की घटना को लेकर शनिवार को परिजनों व अस्पताल प्रबन्धन के पास शिकायतों का दौर चला। इसको लेकर उच्च स्तरीय जांच के आदेश देने के साथ ही दोनों आया को काम से आने से मना कर दिया गया।
सूत्रों के अनुसार शनिवार को बच्चा बदलने का आरोप लगा। बेड नम्बर 4 और बेट नम्बर 12 की महिलाओं ने एक ही समय बच्ची को जन्म दिया और दोनों की बच्ची को इंफेक्शन था जिसके लिए उनका इलाज किया चल रहा था। शाम को जब बच्ची को मां को सौंपा गया तो बेड नम्बर चार के कृष्ण प्रसाद ने बच्ची के बदलने की शिकायत की। उसका कहना है कि बेड नम्बर 12 से उसकी बच्ची बदल गई है। वहीं 12 नम्बर बेड के विश्वनाथ का कहना है कि उनका बच्चा ही उनके पास है। क्योंकि सुबह ही उसने अपने बच्चे को अच्छी तरह से देख लिया था। दोनों ने ही अस्पताल के अधीक्षक से लिखित शिकायत की है।
अधीक्षक डॉ. मयूक राय ने बताया कि जैसे ही उन्होंने सुना कि बच्चा बदलने की बात हो रही है तो वे तुरन्त ही मौके पर पहुंचे। एक बार दोनों के बच्चों को बदल कर भी सौंपा, पर एक पक्ष का कहना है कि उसका बच्चा नहीं बदला वही एक का कहना है कि बच्चा बदल गया है। ऐसे संवेदनशील मुद्दे पर कड़ाई बरती गई।
डॉ. राय ने बताया कि हमने इस मामले की उच्च स्तरीय जांच के आदेश दे दिए हैं। मामले को उच्च अधिकारियों को सौंप दिया गया है। इसके साथ ही जो दो आया काम पर थी उन्हें जांच चलने तक काम से आने से रोक दिया गया है।