कोलकाता

Connection : पोस्टल कर्मचारी का पुलिस बहाली से क्या है कनेक्शन, जानने के लिए पढ़े

1 लाख रुपए लेने और 90 हजार रुपए वापस लौटाने की बात आई सामने

कोलकाताAug 21, 2019 / 03:48 pm

Rakesh Mishra

पोस्टल कर्मचारी का पुलिस बहाली से क्या है कनेक्शन, जानने के लिए पढ़े

 
कोलकाता(Kolkata)
पोस्टल विभाग के कर्मचारी विश्वजीत मंडल (Viswajit Mandal) का पुलिस बहाली से क्या कनेक्शन है। इसकी जांच पुलिस कर रही है। प्रसेन्नजीत दास (28) की रहस्यमय मौत व पुलिस में बहाली कराने के नाम पर उससे 3 लाख रुपए की ठगी करने के आरोप में पुलिस ने विश्वजीत मंडल को गिरफ्तार किया है। आरोपी पोस्टल विभाग में कार्यरत है। विश्वजीत और उसके भाई इंद्रजीत मंडल से लंबी पूछताछ के बाद पुलिस ने विश्वजीत को गिरफ्तार किया। मंगलवार को उसे कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उसे 3 सितम्बर तक पुलिस हिरासत में भेज दिया गया। पूछताछ में आरोपी ने 1 लाख रुपए लेने और 90 हजार रुपए वापस लौटाने की बात पुलिस को बताई है। आरोपी से पूछताछ जारी है।
हत्या का मामला नहीं

Joint CP crime- Murlidhar Sharma ने बताया कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट (PM Report) के मुताबिक प्रसन्नजीत की हत्या नहीं हुई है। घरवालों ने हत्या होने की आशंका व्यक्त की थी। प्राथमिक जांच में पुलिस भी इसे हत्या का मामला ही मान रही थी। लेकिन पीएम रिपोर्ट में हत्या की बात सामने नहीं आई है। रिपोर्ट के मुताबिक युवक या तो किसी चीज से टकराकर तालाब में गिर गया होगा और बेहोश हो गया, जिससे उसकी मौत हो गई या फिर उसने आत्महत्या की है। मृतक के सिर पर चोट के निशान पाए गए हैं। यह किसी चीज से टकराने का निशान है।
क्या है मामला

मालदह जिले के रहने वाले प्रसेन्नजीत दास ने पुलिस में बहाली के लिए कथित तौर पर विश्वजीत मंडल को साल 2017 में 3 लाख रुपए दिए थे। नौकरी नहीं मिलने से हताश युवक कोलकाता रुपए वापस लेने आया था। शनिवार का उसका शव अलीपुर(Alipur) बॉडीगार्ड लाइन के पास तालाब से बरामद किया गया। घरवालों ने प्रसेन्नजीत की हत्या करने का आरोप विश्वजीत और उसके भाई इंद्रजीत मंडल पर लगया था हैं। ये दोनों सगे भाई हैं। ये लोग मालदह जिले के पाकुडिय़ा थाना अन्तर्गत हरिपुर ग्राम के रहने वाले हैं। हरिपुर से 5 किलोमीटर दूर प्रसेन्नजीत का गांव है। विश्वजीत कोलकाता में पोस्टल विभाग में है व इंद्रजीत कोलकाता पुलिस के रिजर्व फोर्स में तैनात है। मृतक के पिता राज्य पुलिस से अवकाश प्राप्त कर्मचारी है। उनका आरोप है कि मंडल भाईयों ने पुलिस मे नौकरी दिलाने का झांसा देकर 3 लाख रुपए की ठगी की और रुपए मांगने पर कोलकाता बुलाकर प्रसेन्नजीत की हत्या कर दी।
कभी नहीं मिला प्रसेन्नजीत से

कोलकाता पुलिस में तैनात इंद्रजीत मंडल ने पूछताछ में बताया कि वह प्रसेन्नजीत से कभी नहीं मिला है और न ही उससे रुपए लिए है। उस पर लगाए गए आरोप झूठे हैं। इंद्रजीत को पुलिस ने अभी गिरफ्तार नहीं किया है। लेकिन वह जांच के घेर में है। वहीं उसके भाई विश्वजीत का कहना है कि उसे तीसरे व्यक्ति से 1 लाख रुपए मिले थे। रुपए देने वाला व्यक्ति मालदह जिले का है। उसी को प्रसेन्नजीत ने रुपए दिए थे। पुलिस उस तीसरे व्यक्ति की तलाश कर रही है। पुलिस ने जांच में पाया कि प्रसेन्नजीत ने आखिरी बार फोन एक युवती को किया था। युवती मालदह की रहने वाली है। प्रसेन्नजीत ने उसे क्यों फोन किया, उसने क्या बातें की। लडक़ी के साथ उसका क्या संबंध है, पुलिस इसकी जांच कर रही है।
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