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कोलकाता

बंगाल की सीएम ममता बनर्जी शरणार्थी कॉलोनियों के निवासियों को देंगी यह उपहार

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने अगस्त तक राज्य में 119 शरणार्थी उपनिवेशों (छिटमहल) में रहने वालों को बहुत बड़ा उपहार देने जा रही हैं।

कोलकाताJul 03, 2020 / 09:54 pm

Prabhat Kumar Gupta

बंगाल की सीएम ममता बनर्जी शरणार्थी कॉलोनियों के निवासियों को देंगी यह उपहार

बंगाल की सीएम ममता बनर्जी शरणार्थी कॉलोनियों के निवासियों को देंगी यह उपहार

कोलकाता.
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने अगस्त तक राज्य में 119 शरणार्थी उपनिवेशों (छिटमहल) में रहने वालों को बहुत बड़ा उपहार देने जा रही हैं। बांग्लादेश के साथ छिटमहलों (भू-खण्डों) का आदान-प्रदान के बाद भारत में लौटे शरणार्थियों के हितों में उन्होंने यह निर्णय लिया है। शरणार्थियों को बिना शर्त जमीन के कागजात (लैंड-डीड) सौंपने का फैसला किया है। हालांकि, बनर्जी ने गत मार्च महीने में जारी लॉकडाउन से पहले ही इसकी घोषणा की थी। राज्य प्रशासन के सूत्रों ने बताया कि लॉकडाउन प्रतिबंधों के कारण भूमि माप से संबंधित काम धीमा पड़ गया था। अब अनलॉक-2 के दौरान ढील दिए जाने पर राज्य सरकार ने इस प्रक्रिया को तेजी से आगे बढ़ाने का फैसला किया है। इसके पूरा होने पर राज्य में एक लाख से अधिक शरणार्थियों को बिना शर्त जमीन के कागजात मिल जाएंगे।
उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री ने गत जनवरी में उत्तर दिनाजपुर में प्रशासनिक बैठक के क्रम में कालियागंज में हुई जनसभा मंच से इसकी घोषणा की थी। उन्होंने कहा था कि उनकी सरकार 119 शरणार्थी कॉलोनियों के निवासियों को बिना शर्त भूमि के कागजात सौंपेंगी। इसके लिए कानून विभाग, भूमि और भूमि सुधार और शरणार्थी राहत और पुनर्वास विभाग के शीर्ष अधिकारियों को लेकर विशेष निगरानी टीम बनाई गई थी।
सूत्रों ने बताया कि जमीन का माप करने के कार्य अनलॉक I के साथ फिर से शुरू हो गया। राज्य सरकार इस कार्य को अगस्त तक पूरा करने का लक्ष्य रखा है। शरणार्थी राहत व पुनर्वास विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि राज्य में 213 शरणार्थियों की कॉलोनियों के लोगों को जमीन का अधिकार मिल जाने पर एक सरकारी मान्यता प्राप्त और सभी नागरिकता अधिकार मिल जाएंगे। ये शरणार्थी उपनिवेश ज्यादातर केंद्र सरकार के कई संगठनों से संबंधित भूमि पर स्थित हैं।
सूत्रों ने बताया कि सरकार का लक्ष्य कोलकाता, दक्षिण और उत्तर 24 परगना, उत्तर और दक्षिण दिनाजपुर, कूचबिहार और जलपाईगुड़ी के लगभग 3 लाख शरणार्थी परिवारों को बिना शर्त जमीन के कागजात सौंपना है। इससे पहले राज्य सरकार की भूमि पर स्थित 94 शरणार्थी कॉलोनियों के निवासियों को बिना शर्त भूमि के कागजात प्रदान किए गए थे।
पश्चिम बंगाल सरकार की सक्रियता ऐसे समय में सामने आई है जब भाजपा ने एक अंतराल के बाद फिर से नागरिकता (संशोधन) अधिनियम का मुद्दा उठाना शुरू कर दिया है। हाल ही में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर सीएए के तहत शरणार्थियों को नागरिकता दिए जाने की प्रक्रिया में बाधा डालने का आरोप लगाया है। राज्य में वैश्विक महामारी के बढ़ते संक्रमण के बावजूद भाजपा ने बंगाल में 2021 के विधानसभा चुनावों पर आंखें मूंदकर राजनीतिक गतिविधियां फिर से शुरू कर दी है।
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