यह सर्वसुविधा युक्त ऑडिटोरियर शासकीय ई. वि. स्नातकोत्तर महाविद्यालय के लिए परिसर में निर्माण कराया गया है। निर्माण कार्य जिला खनिज न्यास मद के 1.49 करोड़ की लागत बनी है। इसके लिए नगर निगम को निर्माण एजेंसी बनाया गया था।
भवन में बैठक व्यवस्था के लिए महंगे-महंगे कुर्सी व सोफा सहित सुविधाए दी गई है। 20 मई 2018 को उद्घाटन किया गया। उद्घाटन कार्यक्रम तत्कालीन मुख्यमंत्री डॉ. रमन ङ्क्षसह, उद्योग मंत्री अमर अग्रवाल, महापौर रेणु अग्रवाल, संसदीय सचिव लखन लाल देवांगन, विधायक जयसिंह अग्रवाल सहित अन्य जनप्रतिनिधि शामिल हुए थे।
उद्घाटन हुए अब चार साल बीत गए हैं, लेकिन महाविद्यालय प्रबंधन को भवन का हैंडओवर की प्रक्रिया पूरी नहीं हुई है। ऐसी स्थिति में ऑडिटोरियम अब खंडहर होने लगा है। कुर्सी व सोफा सहित अन्य महंगे फर्नीचर का उपयोग नहीं होने की वजह से कबाड़ हो गए हैं।
करोड़ो रुपए के ऑडोटोरियम होने के बाद महाविद्यालय प्रबंधन को एक छोटे से मंच में ही कार्यक्रम करना पड़ रहा है। जहां पर्याप्त क्षमता नहीं है। बावजूद इसके ऑडिटोरियम को लेकर ध्यान नहीं दिया जा रहा है।
जर्जर हो गए दरवाजे व फर्नीचर
चार से भवन ताला नहीं हुआ है। यह देखकर असामाजिक तत्व भी ऑडिटोरियम के मुख्य द्वार पर लगे दरवाजे को तोडफ़ोड़ दिया है। यहीं अव्यवस्था का आलम ऑडिटोरियम का है।
एक गार्ड के भरोसे ऑडिटोरियम
नगर निगम के अधिकारियों के द्वारा एक गार्ड के भरोसे ऑडिटोरियम की जिम्मेदारी सौंपी गई है, लेकिन इसे महाविद्यालय प्रबंधन को हैंडओवर को रुचि नहीं दिखा रहे हंै।
हैंडओवर मिलने छात्र-छात्राओं को मिलेगी सुविधा
ऑडिटोरियम का हैंडओवर महाविद्यालय प्रबंधन को मिलने से छात्र-छात्राओं को इसका लाभ मिलेगा। महाविद्यालय में हर माह दो से तीन सेमीनार, वोर्षिकोत्सव सहित अन्य कार्यक्रम आयोजित होंते हैं, लेकिन सभा कक्ष में क्षमता कम होने की वजह से सभी छात्र-छात्राएं शामिल नहीं हो पाते। इसी सत्र से सीजी 01 बटालियन भी प्रारंभ हो गया है। इससे एनसीसी कैडेट्स के द्वारा आयोजित कार्यक्रम भी किए जा सकेंगे।