– जीएम दफ्तर के प्रेवश द्वार पर खड़े होकर ग्रामीणों ने नारेबाजी की, थोड़ी देर बाद गेट के बाहर धरने पर बैठ गए
ग्रामीणों के साथ कांग्रेस ने घेरा कुसमुण्डा जीएम का दफ्तर, एसईसीएल प्रबंधन के खिलाफ जमकर की नारेबाजी
कोरबा. रिहायसी इलाके से कोयला परिवहन बंद करने की मांग को लेकर स्थानीय लोगों ने कांग्रेस के नेतृत्व में कुसमुंडा जीएम के दफ्तर का घेराव और धरना प्रदर्शन किया। घेराव सुबह से शाम तक जारी रहा। लोग हाथों में तख्तियां लेकर एसईसीएल प्रबंधन के खिलाफ नारेबाजी कर रहे थे। सोमवार को ग्रामीण बड़ी संख्या में एसईसीएल कुसमुंडा के महाप्रबंधक का घेराव करने पहुंचे। जीएम दफ्तर के प्रेवश द्वार पर खड़े होकर ग्रामीणों ने नारेबाजी किया। थोड़ी देर बाद गेट के बाहर धरने पर बैठ गए।
बाबू जी धीरे चलना, इस राह में जरा संभलना, हां बड़े गड्ढे हैं, बड़े गड्ढे हैं इस राह में… रिहायसी इलाकों से कोयला परिवहन बंद करने की मांग कर रहे थे। सैकड़ों की संख्या जीएम दफ्तर के बाहर सुबह से शाम तक धरना प्रदर्शन करते रहे। इसमें ग्राम रलिया, भिलाई बाजार, गेवरा बस्ती, हरदीबाजार और कुसमुंडा के के ग्रामीण उपस्थित थे। आंदोलन का नेतृत्व जिला पंचायत उपाध्यक्ष अजय जायसवाल कर रहे थे।
आसपास के ग्रामीण कोयला परिवहन के लिए वैकल्पिक मार्ग की मांग कर रहे हैं। उनका कहना है कि वर्तमान में जिस सड़क से कोयला परिवहन किया जा रहा है, गांव के बीच से होकर गुजरती है। इससे जाम की स्थिति आए दिन निर्मित होती है। राहगीर सड़क दुर्घटना का शिकार होते हैं। अभीतक कोयला लोड गाडिय़ों के पहिये से दबकर कई ग्रामीणों की मौत हो चुकी है। भारी वाहनों से होने वाली परेशानी का हवाला देकर ग्रामीण कोरबा- कुसमुंडा मार्ग पर कोयला परिवहन बंद करने की मांग कर रहे हैं।
कांग्रेस के समर्थन से ग्रामीणों के घेराव को रोकने के लिए रविवार को कुसमुंडा महाप्रबंधक ने एक बैठक बुलाई थी। इसमें घेराव की घोषणा करने वाले पक्षों बातचीत के लिए बुलाया गया था। ग्रामीणों की मांगों पर बैठक में चर्चा हुई थी। लेकिन एसईसीएल कुसमुंडा क्षेत्र के प्रशासन ने यह कहकर मांग को पूरा करने में असमर्थता जताई थी कि मांग उनके अधिकार क्षेत्र से बाहर है। इसके बाद बैठक विफल हो गई थी। कांग्रेस ने सोमवार को जीएम दफ्तर का घेराव करने की घोषणा की थी।