22 में से प्रमुख मांगे ये
– पांचवी अनुसूची 244(1) के तहत आदिवासी क्षेत्रों में ग्राम सभा की अनुमति के बगैर किसी भी प्रकार का निर्माण व व्यवसाय असवैधानिक है। इसके अनुसार ऐसे क्षेत्र में संचालित सभी शराब दुकानों को तत्काल बंद किया जाएं।
– कोरबा में उद्योगों को बढ़ावा देने की वजह से खेती किसानी में काफी गिरावट आई है। जंगलों का अंधाधुंध कटाई भी हुई है। इस वजह से जिला प्रदूषण के चपेट में है। इसपर रोक लगाई जाएं।
– हाथियों से जिले में जनहानि हो रही है। प्रभावित परिवारों को तत्काल 25 लाख रूपए व नौकरी आश्रित परिवार को दिया जाएं।
– कोरबा में नगर निगम व पंचायतों का विस्तार ग्राम सभा के अनुमति के बगैर किया जा रहा है, नगर पंचायतों में गैद आदिवासियों को अध्यक्ष एव उपाध्यक्ष का पद देना पेशा कानून का उल्लंघन है।
– एसईसीएल के द्वारा धड़ल्ले से खदानों के लिए भूमि अधिग्रहण कर बाहरी ठेकेदारों के द्वारा कॉलोनी स्कूल बनाया जाता है, स्थानीय लोगों को ना ठेका मिलता है ना ही रोजगार।
– आदिवासी बच्चों के शिक्षा स्तर को बढ़ाने बनाएं गए मॉडल स्कूल डीएवी को दे दिए गए, तब से आदिवासी बच्चों की संख्या इन स्कूलों में कम हो गई। डीएवी को देने से पहले ग्रामसभा का अनुमोदन नहीं लिया गया।
– बांगो बांध बनने से 53 गांव को विस्थापित कर गढ़उपरोड़ा में बसाया गया, लेकिन आवश्यकताओं की पूर्ति नहीं हुई, ना ही रोजगार मिला ना ही मुआवजा दिया गया।
– पाली के कोडार में रेनकोटट जलाशय के निर्माण मं 58 एकड़ कृषि जमीन लिया गया है, लेकिन इसके लिए ग्राम सभा से अनुमति नहीं ली गई है।
– नकिया में कोल ब्लाक का विरोध ग्राम सभा में किया जा चुका है। फिर भी श्यांग के आसपास खोदाई की जा रही है।
– पोड़ीउपरोड़ा ब्लॉक में एक भी महाविद्यालय नहीं है। प्रदेश में सबसे बड़े क्षेत्रफल वाले इस ब्लॉक मेंं कॉलेज नहीं होने की वजह से छात्र-छात्राओं को काफी परेशानी हो रही है।
0 सभा में कददवर आदिवासी नेताओं ने सरकार पर जमकर हल्ला बोला
शाम पांच बजे से घंटाघर में हुई सवैधानिक सभा में कददवर आदिवासी नेताओं ने सरकार के खिलाफ जमकर हल्ला बोला। कांकेर के पूर्व सांसद और आदिवासी नेता सोहान पोटाई ने पेशा कानून को हर हाल में लागू करने की बात कही। पोटाई ने कहा कि अगर सरकार पेशा कानून पर गंभीर नहीं होती है तो राजधानी में इसका जवाब देने की बात कही। इसी तरह गोड़वाना गणतंत्र पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हीरा सिंह मरकाम ने कहा कि यह विरोध सिर्फ ट्रेलर मात्र है। असली पिक्चर तो अभी बाकि है। सभा में प्रमुख रूप से पाली विधायक रामदयाल उइके, रामपुर विधायक श्यामलाल कंवर, शिवचरण सिंह, धमेन्द्र सिंह धु्रव, छत्रपाल सिंह कंवर, बालाराम आर्मो, शिवनारायण कंवर, कौशल सिंह राज, होरीलाल बियार, धन सिंह धुर्वे समेत सभी महासभा के सभापति व अध्यक्ष शामिल हुए। इस दौरान बच्चों ने संास्कृतिक कार्यक्रम की प्रस्तुति भी दी।