खिलाफ कांग्रेसियों ने खोला मोर्चा.. दे दी चेतावनी शिकायत के सत्यापन के बाद एसआई ने मुकेश को 30 हजार रुपए सुधा हॉस्पिटल के पास उसके परिचित राकेश कुमार महावर को देने को कहा था। दलाल राकेश अपने साथी आकाश राठौड़ को लेकर आया। राकेश ने रिश्वत की राशि आकाश को दिलवाई। इशारा पाकर एसीबी टीम ने दोनों दलालों को गिरफ्तार कर लिया। बाद में नागौर के गांव भगवानपुरा निवासी एसआई सुगना वर्मा (31) को गिरफ्तार किया था।
मामले के अनुसार पंचायत समिति छबड़ा की ग्राम पंचायत तेलनी निवासी प्रभुलाल ने 2 मई 2017 को एसीबी बारां में रिपोर्ट दी थी। इसमें बताया था कि केटल शेड योजना के तहत मिलने वाली सरकारी सहायता के लिए वह दोस्त कजोड़ के साथ सरपंच रामस्वरूप भील से मिला। सरपंच ने योजना के तहत 70-80 हजार रुपए की सहायता राशि दिलवाने की एवज में 8 हजार की मांग रखी। एसीबी टीम के सत्यापन के बाद फरियादी 6 हजार रुपए सरपंच को देने गया। सरपंच रिश्वत राशि प्राप्त करने के बाद शक होने पर रुपए वापस लौटाकर फरार हो गया। इस पर एसीबी ने बिना नम्बर की एफआईआर एसीबी जयपुर मुख्यालय भिजवा दी। इस पर गिरफ्तार होने की आशंका को देखते हुए सरपंच रामस्वरूप भील ने न्यायालय में अग्रिम जमानत का आवेदन पेश किया। न्यायालय ने अपराध की गम्भीरता को देखते हुए अर्जी खारित कर दी।