शिविर शुरू होने से पहले ही यहां लोगों की भीड़ लग गई। पहले से सूचना होने के कारण दिव्यांग जल्दी सुबह से ही यहां पहुंचना शुरू हो गए थे जिससे अधिकांश काउंटर खुलते ही भीड़ से अट गए। दिव्यांगों को परिजनों के साथ लम्बी कतार में लगकर जांच एवं प्रमाण पत्र बनवाना पड़ा।
शिविर में लोकोमोटो विकलांगता, आंख, मूक बधिर एवं मानसिक विकलांगता से सम्बंधित चिकित्सकों ने दिव्यांगों की जांच कर प्रमाण पत्र जारी किए। शिविर में एसडीएम कमल कुमार मीणा, तहसीलदार लक्ष्मीनारायण प्रजापति, प्रधान सावित्री मीणा, ब्लॉक सीएमएचओ डॉ. प्रभाकर व्यास आदि ने दिव्यांगों की समस्याओं का समाधान किया।
यहां कई दिव्यांग आर्थिक एवं अन्य सहायता मिलने की आस में अपने परिजनों के साथ शिविर में पहुंचे। काफी देर तक भटकने के बाद जब उन्हें माजरा समझ आया तो वापस लौट गए। शिविर में सुबह से ही महिलाओं एवं बच्चों के साथ बुजुर्गो की तादाद अधिक रही। कोई परिजनों के सहारे यहां पहुंचा तो किसी ने स्वयं ही शिविर में पहुंचकर प्रमाणपत्र बनाने की सारी औपचारिकता पूरी की।