यह भी पढ़ें
बोगस ग्राहक बनकर पकड़ में आया वसूली करने वाला फर्जी प्रशासनिक अधिकारी सूत्रों के अनुसार, देईखेड़ा निवासी प्रकाश जैन कई सालों श्रीराम नगर कच्ची बस्ती में रह रहे थे। यहां उन्होंने किराने की दुकान के अलावा कुछ समय पहले एक मोबाइल कम्पनी की एजेंसी ली। कई लोगों को नौकरी पर रखा, लेकिन उसमें काफी घाटा हो गया। घाटे से उबरने के लिए उन्होंने कई लोगों से कर्ज लिया। जैन पर 10 लाख रुपए से ज्यादा कर्ज बताया जा रहा है। उन्होंने बैंक से लोन लेकर एक मकान भी लिया था, लेकिन किस्त नहीं चुकाने के कारण मकान छिन गया था। यह भी पढ़ें
अधिकारियों की नाक के नीचे 5 साल से कैसे करता रहा मृतक नौकरी पत्नी के इलाज में भी हुए लाखों खर्च सूत्रों के अनुसार प्रकाश चंद की पत्नी कमला जैन का हादसे में पैर फ्रेक्चर हो गया था। इलाज में करीब दो लाख रुपए खर्च होने पर भी वे पूरी तरह से ठीक नहीं हो पाई है। एक के बाद एक परेशानी और व्यापार में घाटे से आर्थिक तंगी चल ही रही थी। सुसाइड नोट के मुताबिक, एक लाख रुपए कर्जा देने वाले सूरज गुर्जर ने प्रकाश को जल्दी रुपए देने के लिए धमकाया। पिता-पुत्र सबसे अधिक तनाव में उस समय आए जब 11 दिन पहले आरोपी सूरज ने उनकी कमाई के एक मात्र सहारे किराने की दुकान पर ही ताला लगा दिया। इससे न तो वह कर्ज चुका पा रहे थे और न ही घर चला पा रहे थे। यह भी पढ़ें
महिला कैदियों की पीड़ा के प्रति सजग हुआ प्रशासन परिवार के बयान के बाद होगी गिरफ्तारी सीआई लोकेन्द्र पालीवाल ने बताया कि खुदकुशी मामले में अभी तक पीडि़त परिवार व लोगों के बयान नहीं हुए हैं। इसके लिए वे देईखेड़ा भी गए थे। बयान व कागजी कार्यवाही पूरी की जाएगी। सुसाइड नोट को भी एफएसएल के लिए भेजा जाएगा। आरोपी की गिरफ्तारी में अभी समय लगेगा।