Re Calling kota : क्लासरूम में संभव है डिस्टेंसिंग के साथ पढ़ाई कोचिंग संचालकों कहना है कि वे सरकार की ओर से दी जाने वाली कोविड गाइडलाइन की पालना के लिए तैयार हैं। नगरीय विकास मंत्री शांति धारीवाल ने पिछले दिनों कोचिंग एरिया को विशेष जोन बनाने का सुझाव दिया था, इसके बाद संस्थानों में बदलाव करना शुरू कर दिया गया है। कोचिंग संस्थाओं को उम्मीद है कि जल्द गाइडलाइन आएगी, इसलिए उन्होंने कोविड प्रूफ कैम्पस बनाने की तैयारी शुरू कर दी है। इसके लिए कोचिंग संस्थान संचालक खुद गाइडलाइन बना चुके हैं। कोटा शहर में 12 बड़े और करीब 50 कोचिंग संस्थान हैं। बड़े कोचिंग संस्थानों के पास पर्याप्त संख्या में क्लासरूम हैं, उनमें बच्चों की संख्या आधी करके पर्याप्त अंतराल रखा जा सकेगा।
क्लासरूम स्टडी की बात ही अलग है
& लॉकडाउन की वजह से कोटा के कोचिंग संस्थान बन्द हैं लेकिन मुझे उम्मीद है कि जल्द ही वहां नियमित क्लासरूम कोचिंग प्रारम्भ हो जाएगी। मैं भी घर से ऑनलाइन पढ़ाई कर रही हूं, लेकिन जो बात क्लासरूम स्टडी में है, वो ऑनलाइन पढ़ाई में नहीं है। क्लासरूम में आपके साथ अन्य स्टूडेंट्स होते हैं, ग्रुप डिस्कशन होता है और एक अच्छा कम्पीटिशन भी मिलता है।
अंसारी फातिमा शिफा, उत्तरप्रदेश
& लॉकडाउन की वजह से कोटा के कोचिंग संस्थान बन्द हैं लेकिन मुझे उम्मीद है कि जल्द ही वहां नियमित क्लासरूम कोचिंग प्रारम्भ हो जाएगी। मैं भी घर से ऑनलाइन पढ़ाई कर रही हूं, लेकिन जो बात क्लासरूम स्टडी में है, वो ऑनलाइन पढ़ाई में नहीं है। क्लासरूम में आपके साथ अन्य स्टूडेंट्स होते हैं, ग्रुप डिस्कशन होता है और एक अच्छा कम्पीटिशन भी मिलता है।
अंसारी फातिमा शिफा, उत्तरप्रदेश
क्लास शुरू होते ही बेटी को भेजूंगा
&मेरी बेटी कोटा कोचिंग में पढ़ती है और कोरोना के कारण इन दिनों लॉक डाउन की वजह से घर आई हुई है। कोटा के कोचिंग संस्थानों में अनुभवी फैकल्टीज बच्चों के सपनों को साकार करने में दिन रात एक कर देते हैं। इसलिए ऑफलाइन कोचिंग का कोई मुकाबला नहीं है। जैसे ही कोटा कोचिंग में रेगुलर क्लासेज शुरू होंगी, मैं अपनी बेटी को कोटा भेजूंगा।
प्रमोद कुमार सिंह, बिहार
&मेरी बेटी कोटा कोचिंग में पढ़ती है और कोरोना के कारण इन दिनों लॉक डाउन की वजह से घर आई हुई है। कोटा के कोचिंग संस्थानों में अनुभवी फैकल्टीज बच्चों के सपनों को साकार करने में दिन रात एक कर देते हैं। इसलिए ऑफलाइन कोचिंग का कोई मुकाबला नहीं है। जैसे ही कोटा कोचिंग में रेगुलर क्लासेज शुरू होंगी, मैं अपनी बेटी को कोटा भेजूंगा।
प्रमोद कुमार सिंह, बिहार