कर्ज चुकाने के लिए अपने ही जानकार का ट्रैक्टर ट्रॉली चुरा लिया..ऐसे दिया वारदात को अंजाम शहर पुलिस अधीक्षक दीपक भार्गव के पिता केएन भार्गव (85)लंबे समय से हृदय रोग से पीडि़त थे। इसके चलते उन्हें जयपुर के निजी चिकित्सालय में भर्ती करवाया गया, जहां करीब 20 दिन भर्ती रहने के बाद एसपी दीपक भार्गव उन्हें उपचार के लिए कोटा ले आए। यहां पिछले करीब 15 दिन से उनका निजी चिकित्सालय में उपचार चल रहा था। केन भार्गव आईएस के पद से सेवानिवृत हुए। उन्होंने 1983 से 86 के बीच कोटा में असिस्टेंट कमिश्नर के रूप में कार्य किया।
अंधेरे से रोशनी की ओर जाने का संदेश
केएन भार्गव के निधन के बाद शाइन इंडिया फाउंडेशन की मदद से डॉ.कुलवंत गौड और टेक्नीशियन टिंकू ओझा ने दीपक भार्गव के निवास पर पहुंचकर नेत्रदान की प्रक्रिया पूर्ण की। अपने जीवन में मानव सेवा को सर्वोपरि मानने वाले भार्गव ने जीवन के अंत में लोगों को अंधेरे से रोशनी की ओर जाने का संदेश देते हुए नेत्रदान किया।
श्रद्धांजलि देने पहुंचे उच्चाधिकारी पुलिस अधीक्षक दीपक भार्गव के पिता केएन भार्गव के निधन की सूचना मिलते ही आला अधिकारी व प्रबुद्धजन उनके आवास पर पहुंचे और केएन भार्गव को श्रद्धाजंलि दी। इसमें कोटा जिला कलक्टर ओम कसेरा, डीआईजी रविदत्त गौड़, प्रशिक्षु आईपीएस डॉ.अमृता दुहन, एएसपी सिटी दिलीप कुमार सैनी, एडिशनल एसपी मुख्यालय राजेश मील समेत कई थानाधिकारी व प्रबुद्धजन उनके आवास पर पहुंचे। शाम को उनका किशोरपुरा मुक्ति धाम में अंतिम संस्कार किया गया।