कोटा में ऑक्सीजन की कमी से दो मरीजों ने दम तोड़ा
कोटाPublished: Apr 20, 2021 06:37:35 pm
कोविड अस्पताल के एसएसबी विंग के अधीक्षक डॉ. नीलेश जैन ने बताया कि ऑक्सीजन सप्लाई का प्रेशर डाउन हो गया था। यदि ऑक्सीजन नहीं मिलती तो नीचे अन्य ब्लॉक में भी मरीज प्रभावित होते है।
7 days Corona curfew in Burhanpur
कोटा. कोविड अस्पताल में सोमवार देर रात एक बजे पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं मिलने से दो मरीजों की मौत हो गई। मृतक के परिजनों का आरोप है कि देर रात एक बजे अचानक ऑक्सीजन सिलेण्डर खत्म हो गए और पूरे वार्ड में अफरा-तफरी मच गई। कई मरीजों की स्थिति बिगड़ गई। ऑक्सीजन के अभाव में दो मरीजों की मौत हो गई। अस्पताल सूत्रों के अनुसार, सुपर स्पेशयलिटी विंग के 4-ब्लॉक में ए-वार्ड में देर रात 1 बजे ऑक्सीजन की सप्लाई बंद हो गई, जो अल सुबह साढ़े तीन बजे बाद सुचारू हुई। 800 बेड के इस अस्पताल में वर्तमान में कुल 600 से अधिक मरीज भर्ती है और करीब 500 मरीज ऑक्सीजन पर हैं। मोड़क स्टेशन निवासी फरीद मोहम्मद ने बताया कि उनका ***** आसिफ हुसैन 15 दिन से अस्पताल में भर्ती था। उसकी पल्स भी ठीक थी। उसकी रिकवरी भी हो रही थी। सोमवार रात 3 बजे अचानक ऑक्सीजन सिलेण्डर खत्म हो गए। इससे वार्ड में अफरा-तफरी का माहौल हो गया। मरीज परेशान हो गए। अस्पताल प्रशासन भी हरकत में आ गया। ऑक्सीजन के अभाव में मरीजों की मौत हो गई। बारां निवासी विमल ने बताया कि उनकी पत्नी शिप्रा पिछले सोमवार को अस्पताल में भर्ती कराया था। एसएसबी के 4 ब्लॉक में ए-वार्ड में इलाज चल रहा था। साथ लेने में तकलीफ के कारण ऑक्सीजन पर थी। देर रात ऑक्सीजन की सप्लाई बंद हो गई। वार्ड में मरीजों की चिल्लाने की आवाज आने लगी लगी। वार्ड में 25 से ज्यादा मरीज थे। डॉक्टर व नर्सिंग स्टाफ से ऑक्सीजन बंद होने की शिकायत की। उन्होंने व्यवस्था होने में समय लगने की बात कही और कहा कि मरीज के थोड़ा पंपिंग करो। करीब साढ़े 3 बजे बाद ऑक्सीजन की सप्लाई शुरू हुई। जब तक दो मरीजों की सांसे टूट चुकी थी। नए अस्पताल व एसएसबी ब्लॉक में भर्ती कुछ मरीजों और तीमारदारों की शिकायत है कि वार्ड में ऑक्सीजन की सप्लाई प्रॉपर प्रेशर से नहीं पहुंच पा रही है। जिस कारण कई बार मरीज की स्थिति बिगडऩे लगती है। अस्पतालों में क्षमता से ज्यादा मरीज भर्ती हैं। इनमें से ज्यादातर मरीज ऑक्सीजन पर है। अचानक से लोड बढऩे से ऑक्सीजन प्लांट भी हांपने लगे हैं। एसएसबी विंग के अधीक्षक डॉ. नीलेश जैन ने बताया कि ऑक्सीजन की कमी से मरीज की मौत नहीं हुई है। ऑक्सीजन सप्लाई का प्रेशर डाउन हो गया था। यदि ऑक्सीजन नहीं मिलती तो नीचे अन्य ब्लॉक में भी मरीज प्रभावित होते है। यह बात गलत है कि मरीज को ऑक्सीजन नहीं मिली है।