किसानों में जागरूकता का अभाव
जानकारों की माने तो किसानों में ईसबगोल की फसल को लेकर जागरूकता का अभाव है। हालांकि कृषि विभाग उनको ज्यादा उत्पादन व अच्छी फसल के लिए समय-समय पर जानकारी देता है। लेकिन ग्रामीण क्षेत्र में फसल को लेकर पूरी जानकारी नहीं है। विभाग अपने कृषि अधिकारियों व पर्यवेक्षकों की कार्यशाला आयोजित कर किसानों को आवश्यक जानकारी देने की व्यवस्था भी करता है, लेकिन इसके बावजूद किसान इस फसल की पैदावार नहीं बढ़ा पाते।
जानकारों की माने तो किसानों में ईसबगोल की फसल को लेकर जागरूकता का अभाव है। हालांकि कृषि विभाग उनको ज्यादा उत्पादन व अच्छी फसल के लिए समय-समय पर जानकारी देता है। लेकिन ग्रामीण क्षेत्र में फसल को लेकर पूरी जानकारी नहीं है। विभाग अपने कृषि अधिकारियों व पर्यवेक्षकों की कार्यशाला आयोजित कर किसानों को आवश्यक जानकारी देने की व्यवस्था भी करता है, लेकिन इसके बावजूद किसान इस फसल की पैदावार नहीं बढ़ा पाते।
इनका कहना है
ईसबगोल की अच्छी मात्रा में बुआई हुई है। कुचामन क्षेत्र में धीरे-धीरे इस फसल का रकबा बढ़ता जा रहा है। यदि पानी पर्याप्त हो और जमीन की उर्वरा शक्ति अच्छी हो तो किसान पैदावार को बढ़ा सकते हैं। हालांकि पिछले कुछ सालों से पानी की निरंतर कमी आती जा रही है।
– भंवरलाल बाजिया, सहायक निदेशक (कृषि विस्तार), कृषि विभाग, कुचामनसिटी
ईसबगोल की अच्छी मात्रा में बुआई हुई है। कुचामन क्षेत्र में धीरे-धीरे इस फसल का रकबा बढ़ता जा रहा है। यदि पानी पर्याप्त हो और जमीन की उर्वरा शक्ति अच्छी हो तो किसान पैदावार को बढ़ा सकते हैं। हालांकि पिछले कुछ सालों से पानी की निरंतर कमी आती जा रही है।
– भंवरलाल बाजिया, सहायक निदेशक (कृषि विस्तार), कृषि विभाग, कुचामनसिटी