कैमरे में सारी वारदात कैद होने पर साहब दोनों प्राईवेट आदमियों को अपना ड्राइवर बताने लगे। परंतु जब ड्राईविंग लाईसेंस की बात आई तो खाकी वर्दी पहना व्यक्ति डीएल नहीं दिखा सका। वैसे कुशीनगर जनपद होते बिहार, पश्चमी बंगाल व असम प्रांत को जोड़ने वाली राष्ट्रीय राजमार्ग 28 पर परिवहन अधिकारियों द्वारा बस व ट्रक से अवैध वसूली करना कोई नई बात नहीं है। परंतु कुशीनगर में प्रशासन व पर्वतन दोनों का काम देख रहे उप संभागीय परिवन अधिकारी संदीप कुमार पंकज ने सारे रिकॉर्ड को तोड़ दिया है।
संभागीय परिवहन अधिकारी कुशीनगर गैर जनपद के निवासी रामप्रसाद व पंकज सिंह नाम के दो प्राईवेट आदमियों से ड्राईवरों से धनादोहन करा रहे है। गाड़ियों को जांच करने के लिए जब भी ‘साहब’ निकलते हैं तो सरकारी मुलाजिमों की जगह यही दोनों व्यक्ति उनकी गाड़ी में रहते हैं। ड्राईवरों पर रौब गालिब करने और सरकारी कर्मचारी होने का भ्रम बनाए रखने के लिए रामप्रसाद नाम का व्यक्ति हमेशा खाकी वर्दी पहने रहता है। साहब के ये दोनों साहबजादे बकायदा चालकों पर रौब गालिब करते हैं। गाड़ी का कागज व डीएल मांगते हैं और फिर पीछे आने की बात कह कर चल देते।
ड्राईवरों के मुताबिक, जैसे ही ड्राइवर साहब की गाड़ी के पास पहुंचता है तो एआरटीओ के प्राईवेट आदमी एक साथ तमाम कमियां गिना कर हड़काना शुरू कर देते हैं, फिर एक ड्राइवर से 5-15 हजार रुपये तक वसूल लेते हैं। साहब गाड़ी में बैठकर ड्राईवरों को गिड़गिड़ाते देख मगन होते रहते है। सारा दृश्य कैमरे में कैद होने के बाद जब उप संभागीय परिवहन कार्यालय में पर्वतन व प्रशासन दोनों का काम देख रहे आरटीओ संदीप पंकज से प्राईवेट आदमियों के द्वारा अवैध वसूली कराने की बात पूछी गई तो मामले पर पर्दा डालने के लिए वह दोनों आदमियों को अपना ड्राइवर बताने लगे। जब खाकी वर्दी के बारे में उनका कहना था कि यह ड्राइवर का ड्रेस है लेकिन दूसरा व्यक्ति ड्रेस में क्यों नहीं है इस पर वह गोलमटोल जबाब देने लगे। यही नहीं खाकी वर्दीधारी से जब उसकी कैफियत के बारे में पूछा गया तो उसके उसके पसीने छूटने लगे। बार – बार यही कह रहा था साहब बतायेगें। वह डीएल भी नहीं दिखा सका।
सरकारी कर्मचारियों की जगह प्राईवेट आदमियों से ड्राईवरों का डीएल व गाड़ी के कागजात चेक कराने वह स्टाफ की कमी का हवाला देने लगे। ड्राईवरों से अवैध वसूली की बात तो उन्होंने स्वीकार तो की लेकिन आरटीओ ने खूबसूरती से दूसरी ओर मोड़ने की नाकाम कोशिश करने लगे।
BY- A.K. MALL