जिसके बाद न्यायालय ने एक ऐतिहासिक फैसला दिया और आरोपी पिता को सजा-ए-मौत का फैसला सुनाया। मामला थाना बानपुर ग्राम बीर का है । जहां के एक कैदी को फांसी की सजा सुनाई गई।
ललितपुर में थाना बानपुर क्षेत्र के अंतर्गत ग्राम बीर निवासी विक्षिप्त मानसिकता के निकृष्ट पिता छददामी उर्फ छिददू ने ओछी मानसिकता के कारण 2018 में अपनी तीन बेटियों को अपने ही घर में हथोड़ा मार कर मौत के घाट उतार दिया था और अपना कृत्य पाने के उद्देश्य उन पर मिट्टी का तेल डालकर जलाने का प्रयास किया गया था । हालांकि उक्त घटना को ग्रामीणों ने देख लिया और पिता को पकड़कर कमरे में बंद कर थाना बानपुर पुलिस को उक्त घटना की सूचना दी थी ।
तत्कालीन थानाध्यक्ष बानपुर ने मौके पर आकर गहनता से निरीक्षण किया था और आरोपी पिता को मौके से गिरफ्तार कर लिया था । जिसके बाद न्यायालय में मामला लंबित चलता रहा और लगातार सुनवाई होती रही। जिसके बाद गुरुबार को डकैती कोर्ट के माननीय न्यायाधीश ने पूर्ण सुनवाई के दौरान ऐतिहासिक फैसला सुनाया इस फैसले में उन्होंने आरोपी पिता को अपनी बेटियों की हत्या का दोषी मानते हुए सजा ए मौत का ऐलान किया।
न्यायालय ने इसे जघन्य अपराध माना और सजा ए मौत की सजा सुनाई। इस मामले में सरकारी वकील राकेश तिवारी ने बताया कि माननीय न्यायालय द्वारा आरोपी पिता को सजा ए मौत की सजा सुनाई गई है और न्यायालय ने इस कृत्य को जघन्य कृत्य माना है।
बताया गया है कि पिता मानसिक विक्षिप्त था उसके यहां कोई बेटा नहीं था सिर्फ 3 बेटियां थी । इसीलिए वह कोई से हमेशा नाराज रहता था और इसी नाराजगी के कारण उसने उनकी हत्या कर दी थी।