हर घर नल, जल योजना के तहत ग्रामीण पाइप पेयजल योजनाओं की प्रगति की समीक्षा बैठक सोमवार को कलैक्ट्रेट सभागार में आयोजित की गई। इस बैठक की अध्यक्षता राज्यमंत्री श्रम एवं सेवायोजन विभाग मनोहर लाल पंथ ने की। बैठक में जिलाधिकारी योगेश कुमार शुक्ल भी शामिल थे।
बैठक में नोडल अधिकारी इंजीनियर एवं विशेषज्ञ, राज्य पेयजल एवं स्वच्छता मिशन बृजेन्द्र लिटौरिया ने पावर प्वाइंट प्रजेंटेशन के माध्यम से योजना के बारे में विस्तृत जानकारी प्रदान करते हुए बताया कि जनपद ललितपुर के ग्रामीण अंचल में पेयजल उपलब्ध कराने के लिए हर घर नल, जल योजना के अन्तर्गत लगभग 1500 करोड़ रुपए की लागत से शीघ्र कार्य प्रारंभ किया जाना है। इसके लिए जनप्रतिनिधियों की चार बैठकें आहूत की गई हैं, जिनमें उनकी सहमति और परामर्श के बाद डिटेल परियोजना रिपोर्ट डीपीआर तैयार करके शासन को प्रेषित की जा रही है। पांच फरवरी 2020 को मंत्री-परिषद ने बुन्देलखण्ड में पेयजल के लिए उक्त योजना की स्वीकृति प्रदान कर दी है।
इस परियोजना से जनपद के 574 गांवों में पाइप लाइन से घर-घर में पेयजल उपलब्ध हो जाएगा। इस सम्पूर्ण कार्य के लिए 12 योजनाएं बांध पर आधारित हैं, चार योजनाएं बेतवा नदी पर आधारित हैं तथा 12 सोलर परियोजनाएं स्थापित होनी हैं। वाटर वक्र्स के लिए ओवरहेड टैंक आदि के लिए 30 मी से 50 मी लम्बी, चौड़ी भूमि तथा जलशोधन संयंत्र के लिए 100 मी लम्बी तथा 100 मी चौड़ी भूमि की आवश्यकता होगी। उन्होंने सम्बंधित ग्रामों से भूमि उपलब्ध कराने के लिए जिलाधिकारी महोदय से अनुरोध किया। उन्होंने बताया कि उक्त परियोजना के अंतिम रुप से तैयार हो जाने के उपरान्त सन् 2020 ये 2022 तक पूर्ण होने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है और सम्बंधित कार्यदायी संस्था को 10 वर्ष तक संचालन एवं अनुरक्षण की जिम्मेदारी सौंपी गई है।
उन्होंने कहा कि उक्त परियोजना की स्वीकृति के लिए मा राज्यमंत्री श्रम एवं सेवायोजन विभाग मनोहर लाल पंथ के भरसक प्रयास, सदर विधायक रामरतन कुशवाहा के सक्रिय सहयोग प्रदान किया गया है।
उन्होंने कहा कि उक्त परियोजना की स्वीकृति के लिए मा राज्यमंत्री श्रम एवं सेवायोजन विभाग मनोहर लाल पंथ के भरसक प्रयास, सदर विधायक रामरतन कुशवाहा के सक्रिय सहयोग प्रदान किया गया है।
मौके पर मंत्री मनोहर लाल पंथ ने अवगत कराया कि पिछली बैठकों में योजना से सम्बंधित जो कमियां रह गईं थीं, उन कमियों का निराकरण कर अंतिम निर्णय लिया जाना है, उन्होंने कहा कि योजना के तहत प्रत्येक ग्राम को आच्छादित किया जायेगा। इस योजना के संचालन से जनपद की पेयजल सम्बंधी समस्या का स्थायी समाधान हो सकेगा।
इसी दौरान मुख्य विकास अधिकारी ने समस्त खण्ड विकास अधिकारियों को अपने-अपने विकासखण्ड में उक्त योजना के अंतर्गत छूटे हुए राजस्व गांव अथवा मजरों की जानकारी बीएलजी कन्स्ट्रक्शन प्रा लि को तत्काल देने के लिए निर्देशित किया। इसके उपरान्त जिलाधिकारी द्वारा योजना के तहत आच्छादित किए जाने वाले ग्रामों के राजस्व ग्राम एवं मजरे के सम्बंध में विस्तृत जानकारी ली गई तथा छूटे हुए राजस्व ग्रामों एवं मजरों तथा अधिक दूरी वाले ग्रामों को कम दूरी वाले ग्रामों में जोड़ने के लिए कार्यवाही किए जाने के लिए निर्देशित किया। उन्होंने कहा कि योजना के तहत ओवरहेड टेंक सर्वाधिक ऊंचाई वाले स्थान पर बनाए जाएं, जिससे योजना के तहत पानी की आपूर्ति सुगमतापर्वूक सभी जगह हो सके।