इसलिए हुई छापेमारी ईडी ने विदेशी निवेश प्रमोशन बोर्ड के 2006 में मिले एयरसेल-मैक्सिस डील केअप्रूवल को लेकर छापा मारा है। ईडी के मुताबिक अनुसार ये अप्रूवल उस वक्त मिला जब देश के वित्त मंत्री पी. चिदंबरम थे। पी चिदंबरम को 600 करोड़ रुपए तक के प्रोजेक्ट प्रपोजल्स को मंजूरी देने का अधिकार नहीं था। इससे ऊपर के प्रोजेक्ट के लिए कैबिनेट कमेटी ऑन इकोनॉमिक अफेयर्स की मंजूरी की जरूरत थी।
क्या है कार्ति पर आरोप पी चिदंबरम क बेटे कार्ति चिदंबरम पर यह आरोप है कि 2013 में ऐसे ही एफआइपीबी क्लीयरेंस पाने वाली कंपनी को अपनी संपत्ति को किराये पर दिया था, लेकिन जांच एजेंसियों के बढ़ते शिकंजे को देखते हुए उन्होंने अपनी इस संपत्ति को बेच दिया। कार्ति पर ये भी आरोप है कि उन्होंने प्रोविजन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (पीएमएलए )की कार्रवाई से परेशान होकर अपने कई बैंक खातों को बंद कर दिया था।
कांग्रेस ने बताया, राजनितिक साजिश चल रही है ईडी के छापे पर कांग्रेस के प्रवक्ता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा कि इसमें कोई आश्चर्य नहीं कि हमारे सीनियर लीडर पी. चिदंबरम और उनके बेटे कार्ति के खिलाफ राजनीतिक साजिश की जा रही है। वहीं चिदंबरम ने कहा कि ईडी के अफसरों ने छापेमारी की लेकिन उन्हें कुछ नहीं मिला। पीएमएलए के तहत कार्रवाई ईडी के अधिकार क्षेत्र में नहीं आती।