scriptसुप्रीम कोर्ट ने अनिल अंबानी को दी बड़ी राहत,एरिक्सन का कर्ज चुकाने के लिए दिया 15 दिसंबर तक का वक्त | Sc gives RCom time till Dec 15 to clear Rs 550-crore dues to Ericsson | Patrika News

सुप्रीम कोर्ट ने अनिल अंबानी को दी बड़ी राहत,एरिक्सन का कर्ज चुकाने के लिए दिया 15 दिसंबर तक का वक्त

locationनई दिल्लीPublished: Oct 24, 2018 09:49:05 am

Submitted by:

manish ranjan

एरिक्सन के कर्ज में डूबी अनिल अंबानी की आरकॉम को सुप्रीम कोर्ट ने बड़ी राहत प्रदान की है। कोर्ट ने आरकॉम को एरिक्सन का बकाया चुकाने के लिए 15 दिसंबर तक वक्त दे दिया है।

anil ambani

सुप्रीम कोर्ट ने अनिल अंबानी को दी बड़ी राहत,एरिक्सन का कर्ज चुकाने के लिए दिया 15 दिसंबर तक का वक्त

नई दिल्ली। एरिक्सन के कर्ज में डूबी अनिल अंबानी की आरकॉम को सुप्रीम कोर्ट ने बड़ी राहत प्रदान की है। कोर्ट ने आरकॉम को एरिक्सन का बकाया चुकाने के लिए 15 दिसंबर तक वक्त दे दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई करते हुए कहा आरकॉम को उसके असेट बेचने में आ रही दिक्कतों को ध्यान में रखते हुए भुगतान का समय बढ़ाया जा रहा है। लेकिन, इसके बाद डेडलाइन नहीं बढ़ाई जाएगी।

एरिक्सन का कर्ज समय से नहीं चुका पाई आरकॉम

कोर्ट ने आरकॉम को सालाना 12% ब्याज चुकाने के भी आदेश दिए। कोर्ट के पिछले आदेश के मुताबिक आरकॉम को 30 सितंबर तक एरिक्सन को 550 करोड़ रुपए का भुगतान करना था लेकिन, कंपनी नाकाम रही। इसलिए आरकॉम ने कोर्ट से गुहार लगाते हुए 60 दिन का अतिरिक्त समय मांगा।

4 साल से चल रहा है विवाद

स्वीडन की टेलीकॉम उपकरण निर्माता कंपनी एरिक्सन और आरकॉम के बीच यह विवाद 4 साल पहले से चला आ रहा है। आरकॉम ने 2014 में उसका टेलीकॉम नेटवर्क संभालने के लिए एरिक्सन से 7 साल की डील की थी। एरिक्सन ने अपनी सेवाओं के बदले आरकॉम पर 1,600 करोड़ रुपए भुगतान का दावा ठोका। इसके बाद एरिक्सन ने आरकॉम के खिलाफ दिवालिया कोर्ट में याचिका लगा दी। कोर्ट में समझौते के तहत आरकॉम ने कहा कि वह एरिक्सन को 550 करोड़ रुपए का भुगतान करेगा।

एरिक्सन ने इसलिए दायर की याचिका

एरिक्सन और आरकॉम के बीच समझौते के बाद कोर्ट ने आरकॉम को भुगतान करने के लिए 30 सितंबर तक समय दिया था। लेकिन कोर्ट के आदेश के बावजूद भी आरकॉम ने समय पर एरिक्सन का कर्ज नहीं चुकाया। जिसके बाद एरिक्सन ने अनिल अंबानी के खिलाफ कोर्ट में 1 अक्टूबर, 2018 को अवमानना याचिका दायर की थी। एरिक्सन ने इस याचिक में यह भी कहा था कि अनिल अंबानी को देश छोड़कर जाने की इजाजत ना दी जाए।

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