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युवा देश की सांस्कृृतिक विरासत को आगे बढ़ाने में योगदान दे- आनंदीबेन पटेल

locationलखनऊPublished: Apr 15, 2021 04:37:54 pm

Submitted by:

Ritesh Singh

विश्वविद्यालय वैश्विक चुनौतियों के समय शिक्षा जगत में हो रहे परिवर्तन पर ध्यान केन्द्रित करे

विश्वविद्यालय वैश्विक चुनौतियों के समय शिक्षा जगत में हो रहे परिवर्तन पर ध्यान केन्द्रित करे

विश्वविद्यालय वैश्विक चुनौतियों के समय शिक्षा जगत में हो रहे परिवर्तन पर ध्यान केन्द्रित करे

लखनऊः महात्मा ज्योतिबा फुले रूहेलखण्ड विश्वविद्यालय बरेली के एमबीए हाल में आयोजित 18वें दीक्षांत समारोह में उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने आज वर्चुअल सहभागिता करते हुए नब्बे मेधावियों को आनलाइन उपाधियां प्रदान की। इस अवसर पर उन्होंने अपने सम्बोधन में कहा कि वर्तमान वैश्विक महामारी कोरोना की दूसरी लहर बहुत तेजी से बढ़ रही है हम सभी को इस महामारी के संक्रमण से बचने के लिए सभी जरूरी उपाय करना चाहिए। उन्होंने छात्र-छात्राओं से कहा कि वे वैश्विक चुनौतियों के समय में शिक्षा जगत में हो रहे परिवर्तन पर अपना ध्यान केन्द्रित करते हुए अर्जित किए हुए ज्ञान को जनकल्याण के लिये यथार्थ के धरातल पर रूपान्तरित करने की कला को विकसित करें। राज्यपाल ने कहा कि युवा संसाधन के रूप में अवसर है आप देश के सांस्कृतिक व भौतिक विरासत को अक्षुण्ण बनाये रखते हुए देश को आगे ले जाने के लिए अपना योगदान कर सकते है।
राज्यपाल ने कहा यह विश्वविद्यालय महान समाज सुधारक महात्मा ज्योतिबा फूले के नाम पर स्थापित है जिन्होंने शिक्षा के साथ-साथ समता, समरसता, सौहार्द एवं सामाजिक न्याय पर अत्यधिक बल दिया था। आप सभी को उनके महान आदर्शों का पालन करना चाहिये। राज्यपाल ने प्रसन्नता व्यक्त की कि रूहेलखण्ड विश्वविद्यालय उत्तर प्रदेश का एक ऐसा विश्वविद्यालय है जिसने राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 को अंगीकार करते हुए वृृहद रूप से क्रियान्वयन प्रारम्भ किया तथा अपने दृृढ़ निश्चय, दूर दृृष्टि, लगन, कर्मठता एवं कार्यप्रणाली से इस विश्वविद्यालय ने देश एवं प्रदेश में अपनी एक अलग पहचान बनायी है।
राज्यपाल ने अपेक्षा की कि संक्रामक रोगों और वैश्विक बीमारी के परिदृश्य को देखते हुए विश्वविद्यालय रोगों के निदान, कारणों, वैक्सीनोलोजी व अन्य प्रासंगिक रोगों का निदान हेतु नेतृृत्व करेंगें, उन्होंने कहा कि कोरोना के विरूद्व प्रतिरक्षण की हमारी लड़ाई जारी है अतः समस्त छात्र-छात्राओं उनके अभिभावको तथा विश्वविद्यालय परिवार की जिम्मेदारी बनती है कि कोरोना से बचाव हेतु ग्राम स्तर पर जन जागरूकता अभियान चलायें तथा अधिक से अधिक लोगो को टीकाकरण हेतु प्रेरित करे।
विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो0 के0पी0 सिंह ने बताया कि डिग्री के बढ़ते हुए दुरूपयोग के कारण आज यहाँ दी गयी डिग्री में सिक्योरिटी फीचर बढ़ा दिये है तथा विश्वद्यालय में फार्मेसी विभाग को भी आई.टी. में शामिल कर दिया गया है अब नई डिग्री में कुलपति के साथ-साथ परीक्षा नियंत्रक के भी हस्ताक्षर होगें। प्रो0 के0पी0 सिंह ने बताया कि टीकाकरण उत्सव में विश्वविद्यालय स्टाफ के अलावा आस-पास के गांव के 45 वर्ष से अधिक आयु के लोगों का टीकाकरण किया गया।
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