scriptगोरखपुर सहित उत्तर प्रदेश के 20 जिलों में बाढ़ का कहर | 20 District of Uttar Pradesh Along with Gorakhpur Flood Affected | Patrika News

गोरखपुर सहित उत्तर प्रदेश के 20 जिलों में बाढ़ का कहर

locationलखनऊPublished: Aug 10, 2020 07:39:46 pm

करीब 800 गांव बाढ़ से प्रभावित, 428 गांवों का कटा सम्पर्क।

Flood in Uttar Pradesh

यूपी में बाढ़

लखनऊ. भारी बारिश और बांधों से छोड़े गए पानी के चलते यूपी के 20 जिलों के 800 से ज्यादा गांव बाढ़ की चपेट में हैं और जबकि 482 गांवों का सम्पर्क दूसरे इलाकों से पूरी तरह कट गया है। राहत आयुक्त कार्यालय की रिपोर्ट के मुताबिक यूपी के अंबेडकर नगर, अयोध्या, आजमगढ़, बहराइच, बलरामपुर, बाराबंकी, पीलीभीत, सीतापुर, गोरखपुर, कुशीनगर, महाराजगंज, सिद्घार्थनगर, मऊ, संत कबीर नगर, आजमगढ़ व बलिया जिले बाढ़ से काफी प्रभावित हैं।

 

सूबे की नदियां उफान पर चल रही हैं। रिपोर्ट के मुताबिक अभी भी लखीमपुर खीरी के पलियाकलां में शारदा, गोरखपुर के बर्डघाट में राप्ती और घाघरा बाराबंकी एल्गिनब्रिज, अयोध्या व बलिया के तुर्तीपार में खतरे के निशान से उपर बह रही हैं। सरकार की ओर से बाढ़ राहत का काम तेज कर दिया गया है। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और पीएसी को राहत और बचाव के काम में लगाया गया है। मुख्यमंत्री ने ड्रोन के जरिये बाढ़ की स्थिति की निगरानी के निर्देश दिये हैं। हालांकि सरकार का दावा है कि स्थिति बेकाबू नहीं है और बाढ़ प्रभावित लोगों की मदद की जा रही है। हालांकि मौसम विभाग की ओर से अगले बारिश की संभावना जतायी गई है।

 

सरकार के मंत्री अनिल राजभर के मुताबिक बलिया के बैरिया तहसील अन्तर्गत कोटवां सुल्तानपुर रिंग बांध में एकाध जगह रिसाव की सूचना के बाद वहां काम चल रहा है और स्थिति नियंत्रण में है। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में मदद के लिये 715 राहत चौकियां काम कर रही हैं, जबकि प्रभावित क्षेत्रों में बड़ी संख्या में आश्रय स्थल बनाए गए हैं। 780 नावें भी बाढ़ राहत और बचाव में लगाई गई हैं। बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में मेडिकल टीमें भी मुस्तैद हैं और उन्हें बीमारियों को लेकर सतर्कता बरतने के निर्देश दिये गए हैं। लोगों में राहत समाग्रियां बांटी जा रही हैं।


गोरखपुर में 22 और गांवों में बाढ़ का पानी घुसने की सूचना है। यहां 120 गांव बाढ़ की चपेट में हैं, जबकि 45 गांव पूरी तरह बाढ़ से घिर गए हैं। इन गांवों का सम्पर्क कट चुका है, जिसके चलते यहां नाव ही एकमात्र सहारा बचा है। यहां रोहिन राप्ती और घाघरा नदियां खतरे के निशान से उपर हैं, जबकि कुआनो और गोर्रा नदी का जलस्तर भी बढ़ा है। उधर बहराइच में घाघरा में कटान तेज हो गया है। लखीमपुर के खैरटिया में भी कटान हुआ है। बलिया के बैरिया में सरयू तट स्थित कोटवा सुल्तानपुर रिंग बांध में रिसाव के बाद यहां तटबंध की मरम्मत का काम जारी है।

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