नवरात्र में बजेगी शहनाई
नवरात्र में राजधानी के मोतीनगर स्थित राजकीय पाश्चात्यवर्ती देखरेख संगठन परिसर में शहनाई बजेगी। 15 अक्टूबर को महानगर के कल्याण मंडप में सभी 31 युवतियां चुने गए युवकों के साथ विवाह बंधन में बंधेंगी। बुधवार से शादी की तैयारियां शुरू हो जाएंगी। जिला समाज कल्याण अधिकारी केएस मिश्रा ने बताया कि सामूहिक शादी के लिए अनुदान की व्यवस्था की जा रही है। सभी युवतियों के खाते में 20 हजार रुपये की रकम भेजी जाएगी और 10 हजार रुपये का घरेलू सामान दिया जाएगा। पांच हजार शादी समारोह में खर्च होंगे। यह सामूहिक विवाह जिला प्रशासन के सहयोग से किया जाएगा।
नवरात्र में राजधानी के मोतीनगर स्थित राजकीय पाश्चात्यवर्ती देखरेख संगठन परिसर में शहनाई बजेगी। 15 अक्टूबर को महानगर के कल्याण मंडप में सभी 31 युवतियां चुने गए युवकों के साथ विवाह बंधन में बंधेंगी। बुधवार से शादी की तैयारियां शुरू हो जाएंगी। जिला समाज कल्याण अधिकारी केएस मिश्रा ने बताया कि सामूहिक शादी के लिए अनुदान की व्यवस्था की जा रही है। सभी युवतियों के खाते में 20 हजार रुपये की रकम भेजी जाएगी और 10 हजार रुपये का घरेलू सामान दिया जाएगा। पांच हजार शादी समारोह में खर्च होंगे। यह सामूहिक विवाह जिला प्रशासन के सहयोग से किया जाएगा।
प्रदेश भर से आती हैं युवतियां
राजकीय पाश्चात्यवर्ती देखरेख संगठन में 18 वर्ष से ऊपर वाली सभी बेसहारा युवतियों को रखा जाता है। राजकीय बालगृह (बालिका) मोतीनगर में रहने वाली ऐसी बालिकाएं जिनकी उम्र 18 वर्ष हो जाती है उन्हें यहां स्थानांतरित कर दिया जाता है। अन्य जिलों से भी युवतियां यहां भेजी जाती हैं।
राजकीय पाश्चात्यवर्ती देखरेख संगठन में 18 वर्ष से ऊपर वाली सभी बेसहारा युवतियों को रखा जाता है। राजकीय बालगृह (बालिका) मोतीनगर में रहने वाली ऐसी बालिकाएं जिनकी उम्र 18 वर्ष हो जाती है उन्हें यहां स्थानांतरित कर दिया जाता है। अन्य जिलों से भी युवतियां यहां भेजी जाती हैं।
इस तरह से होता है चयन यहां चयन की प्रक्रिया अलग ही है। जिला प्रशासन के माध्यम से महिला कल्याण विभाग शादी के लिए युवाओं से फोटोयुक्त आवेदन मांगता है। उसके बाद आवेदन की जांच की जाती है। जांच के बाद विभाग उनका इंटरव्यू लेता है। इंटरव्यू में जो युवा पास हो जाते हैं उनके परिवार के लोगों और लड़की की सहमति पूछी जाती है। जब सहमति मिल जाती है तो उसके बाद ही विवाह का निर्णय लिया जाता है।