इस मौके पर हनुमान मंदिर ऐशबाग में भगवद्गीता में प्रखर मिश्रा, सर्वश्रेष्ठ शिविरार्थी में नितीश कुमार गुप्ता, अर्जुन साधना में अमन, ध्यान में योगेश राजपूत, राजकीय मुद्रणालय कॉलोनी ऐशबाग में गीता श्लोक में सूर्य प्रताप सिंह, धु्रव साधना में आशु शाह, ध्यान में सुमित, ओंकारेश्वर मंदिर चित्ताखेड़ा में वीर हनुमान में खुशी जायसवाल, स्त्रोत में साक्षी, गीता में महक गौतम, आदर्श बालक में शास्त्री अव्वल रहे। इस मौके पर विजयी बच्चों को पुरस्कृत किया गया। समापन अवसर पर प्रभावती, शिवेंद्र मिश्रा, पीयूष जायसवाल मौजूद थे। बच्चों ने शिविर प्रशिक्षण के उपरांत शिविर वृतान्त का संक्षिप्त परिचय दिया है।
शिविर निर्देशन संस्कार शुक्ला, अनुराधा मिश्रा और वंशिका, नैंसी, आस्था ने शिविर में विभिन्न सत्रों का आयोजन किया। पीयूष जायसवाल ने बताया कि शिविरों में बच्चों को भारतीय संस्कृति, संस्कारों व नैतिक शिक्षा के साथ भगवद्गीता के श्लोक तथा योगाभ्यास कराया जाता है। जिससे नन्ने-मुन्ने बच्चे संस्कारी बने और अपनी भारतीय संस्कृति व संस्कारों को बचाकर रख सके और भारतवर्ष को सर्वाेच्च स्थान पर पहुंचाए। तभी तो ये संस्कारी बच्चे भारतीय संस्कृति व संस्कारों के रक्षा कर सकेंगे। इन शिविरों में 8 से 16 साल के बच्चे सहभागिता कर सकते है।
दिन प्रतिदिन हजारों बच्चों को शिविरों में प्रशिक्षण दिया जा रहा क्योंकि यह पूर्णतया निशुल्क शिविर राजधानी के विभिन्न स्थानों पर प्रातःकाल तथा सायंकाल में दो से तीन घंटे के शिविर आयोजित किये जा रहे। वहीं दूसरी ओर चल रहे कल्याणगिरी मंदिर चौक, भुइयन देवी मंदिर पारा, छोटी काली माता मंदिर पार्क चौक, राधाकृष्ण मंदिर सआदतगंज, नारायण मंदिर, बुद्धेश्वर महादेव मंदिर, ज्ञानेश्वर मंदिर सआदतगंज, मुन्नालाल ठाकुरद्वारा पांडेयगंज में शिविर अपने अंतिम चरण में है। शुक्रवार से भागवत पार्क प्रियदर्शिनी कालोनी, हनुमान मंदिर मोतीझील, शिव मंदिर चित्ताखेड़ा, सिद्धार्थ पार्क पांडेय का तालाब, टयूबवेल पार्क मालवीय नगर में शिविरों का आयोजन किया गया।