उन्होंने बताया कि वीडियो रिकार्डिंग के आधार पर जांच के बाद आरोपियों की गिरफ्तारी जाएगी। शुक्रवार को नमाज अदायगी के बाद इटावा शहर में मुस्लिम समुदाय की तरफ से नागरिकता संशोधन विधेयक के विरोध में जोरदार प्रदर्शन किया गया था।
नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) के विरोध में जुमे की नमाज के बाद हजारों लोग शहर के मुख्यमार्ग रेलवे रोड पर निकल आए और प्रदर्शन किया। लोगों ने केंद्र व प्रदेश सरकार विरोधी नारेबाजी भी की।
दोपहर तीन बजे ऐसा लगा कि माहौल तनावपूर्ण हो गया लेकिन प्रशासन ने सूझबूझ से स्थिति संभाली। धर्म गुरुओं के अपील करने के बाद शहर में गंगा-जमुनी तहजीब नजर आई। दो घंटे प्रदर्शन के बाद शाम पांच बजे लोग घरों को लौट गए। जुमे की नमाज को लेकर सुबह से ही प्रशासन हाईअलर्ट पर था।
पचराहा, नौरंगाबाद, इस्लामिया, रेलवे रोड, बाह अड्डा, साबितगंज, न्यूसिटी व शास्त्री चैराहा आदि स्थानों पर 500 से अधिक जवान मुस्तैद थे। दोपहर करीब ढाई बजे जुमे की नमाज के बाद पथवरिया इलाके से लोगों का जत्था बाहर निकला और नौरंगाबाद चौराहा की तरफ बढ़ने लगा। रास्ते में नौरंगाबाद चौराहा, उर्दू मोहल्ला व मेवाती टोला से लोग जत्थे में शामिल होते गए। जत्था जब शास्त्री चौराहा पर पहुंचा तो प्रशासन को सूचना मिली।
डीएम व एसएसपी वहां पहुंचे और लोगों से घर जाने को कहा। एसएसपी लोगों को समझाबुझाकर पुल तक ले आए लेकिन तब तक लोगों की संख्या हजारों में पहुंच चुकी थी। युवा नारेबाजी कर तिरंगा लहराने लगे। जब लोग पीछे नहीं हटे तो प्रशासन ने मौलाना शुऐब अहमद नईमी व मौलाना तारिक शम्सी से लाउडस्पीकर से एलान करवाया कि सभी लोग घर वापस जाएं लेकिन युवा नारेबाजी करते रहे। यहां से कुछ दूरी पर एसएसपी फोर्स के साथ तैनात रहे, जबकि शादीलाल धर्मशाला के पास डीएम स्वयं खड़े होकर अधिकारियों को निर्देश देते रहे। धर्म गुरुओं की अपील पर शाम पांच बजे लोग अपने-अपने घरों को चले गए।