लखनऊ में है 600 से अधिक शराब की दुकानें राजधानी लखनऊ में अंग्रेजी, देसी व मॉडल की दुकानों के संचालकों को आय के हिसाब से पंजीयन का शुल्क जमा करना होगा। साथ ही इसका नवीनीकरण कराना होगा। लखनऊ में 600 से अधिक मदिरा की दुकानें हैं। सरकार ने सभी संचालकों को निर्देश दिया है कि वह खाद्य औषधि विभाग से लाइसेंस जारी करा लें। विभाग ने आबकारी विभाग से जिले के लाइसेंसी शराब की दुकानों की सूची मांगी है।
यह भी पढ़ें
काशी में पीएम मोदी का ड्रीम प्रोजेक्ट नमो घाट बन कर तैयार, पहली बार पर्यटकों को मिलेगी अंतरराष्ट्रीय स्तर की सुविधाएं
बिक्री अनुसार होगी लाइसेंस फीस शराब की दुकान चलाने वालों के लिए लाइसेंस फीस बिक्री के अनुसार होगी। यह बिक्री का लगभग 0.01 प्रतिशत होगा। इस नए नियम से शराब विक्रेताओं को परेशानी हो सकती है। उन्हें लिखापढ़ी की परेशानी हो सकती है। शराब विक्रेताओं का कहना है कि रिकॉर्ड अनुसार टैक्स बहुत कम है पर लिखापढ़ी काफी बढ़ जाएगी। यह भी पढ़ें