वहीं डॉ. रवि देव का कहना है कि वह पांच साल से छात्रा के साथ रह रहे थे। युवती का भाई उन्हीं के साथ रहता था और वहां उसके माता-पिता का भी आना जाना था। डॉक्टर के मुताबिक, छात्रा से तीन साल का उनका एक बेटा भी है। डॉक्टर का आरोप है कि युवती आठ माह से उनके बेटे को लेकर फरार है। इस संबंध में उन्होंने न्यायालय में केस किया था, जिसका समन शुक्रवार को युवती के पास पहुंचा था। नाराज होकर युवती ने रिपोर्ट दर्ज करवा दी।
वहीं, एएसपी ट्रांसगोमती हरेंद्र कुमार के मुताबिक, छात्रा की तहरीर पर दुष्कर्म, अप्राकृतिक यौन शोषण, मारपीट, धमकी समेत अन्य धाराओं में एफआइआर दर्ज हुई है। नशीली दवा देकर करता था रेप छात्रा द्वारा दी गई तहरीर में कहा गया है कि उसके सिर में गांठ थी। सितंबर 2013 में डॉक्टर रवि देव ने ऑपरेशन किया और हर दूसरे दिन क्लीनिक पर आकर पट्टी कराने को कहा था। आरोप है कि डॉक्टर ने ड्रेसिंग के दौरान छात्रा को नशीली दवाई दे दी, जिससे वह बेहोश हो गई। इस बीच डॉक्टर ने युवती के साथ दुष्कर्म किया। अप्रैल 2014 में छात्र दोबारा डॉक्टर को दिखाने पहुंची, जिसपर डॉक्टर ने क्लीनिक से सभी मरीजों और स्टाफ को बाहर कर दिया। इसके बाद युवती का अश्लील वीडियो और फोटो दिखाकर उसे वायरल करके परिवार व समाज में बदनाम करने की बात कही। इ सके बाद दुष्कर्म किया और कहा कि बीटेक कर रखा है, तुम्हारी क्लीनिक में ही नौकरी लगा दूंगा। इसके बाद युवती रवि देव के क्लीनिक में ही व्यवस्थापक का काम देखने लगी।
11 दिसंबर 2015 में दिया बेटे को जन्म छात्र के मुताबिक, अप्रैल 2015 में वह गर्भवती हो गई तो डॉक्टर ने बच्चे को गिरवाने का दबाव बनाया। ऐसा न करने पर शादी से इंकार कर दिया। छात्र ने 11 दिसंबर 2015 को बेटे को जन्म दिया। आरोप है कि रवि देव ने बच्चे को मारने की धमकी दी। इसके बाद छात्रा नौ फरवरी को बच्चे संग इटौंजा जाकर रहने लगी। वहीं, डॉक्टर ने सभी आरोपों को खारिज किया है।