Governor ने कहा कि कोविड-19 वायरस जनित एक महामारी है परन्तु इसने पूरे विश्व को काफी कुछ सीखने एवं सोचने को मजबूर किया है। भारत में कोरोना संक्रमण के दृष्टिगत चिकित्सालयों में वेन्टीलेटर्स की संख्या को बढ़ाया गया है। नवाचार के माध्यम से नये बनने वाले वेन्टीलेटर्स पहले की अपेक्षा कम मूल्य में उपलब्ध हो रहे है। चिकित्सा क्षेत्र में उपयोग हेतु पी0पी0ई0 किट का पहले हम आयात करते थे तथा सीमित मात्रा में मास्क एवं गलव्स का उत्पादन देश में होता था, परन्तु आज देश में प्रतिदिन बड़ी संख्या में न केवल पी0पी0ई0 किट, मास्क एवं गलव्स का उत्पादन हो रहा है बल्कि निकट भविष्य में हम विश्व के अनेक देशों का इसका निर्यात भी करेंगे।
Governor ने कहा कि दुनिया भर में कोविड-19 के उपचार के संबंध में वैक्सीन बनाने हेतु शोध जारी हैं। शोधकर्ताओं के समक्ष भी यह एक चुनौती है कि बिना विस्तृत शोध एवं क्लीनिकल ट्रायल के किसी दवा या वैक्सीन को कैसे प्रयोग में लायें। फिर भी दुनिया भर के शोधकर्ता कोविड-19 से निपटने के लिए जिस स्तर पर शोध कर रहे हैं और इसके संक्रमण को रोकने के लिए वैक्सीन बनाने में जुटे हैं, वह अभूतपूर्व है। उन्होंने कहा कि कोविड-19 का संक्रमण कम हो जाने के बाद भी हम सभी को बदले तरीके से ही जीना होगा।
Governor ने कहा कि प्रधानमंत्री ने कोविड-19 से लड़ने में देश को सक्षम बनाने की अपनी योजनाओं को प्रारम्भ में ही लागू करना शुरू कर दिया था। प्रारम्भ में देश में कोविड अस्पतालों की कोई अवधारणा नहीं थी। आज देश में लगभग 700 से अधिक विशेष कोविड अस्पताल हैं, जिसमें आइसोलेशन बेड और आई.सी.यू. बेड हैं। कोरोना-19 की टेस्टिंग हेतु एक लैब थी और वर्तमान में 300 से अधिक टेस्टिंग लैब देश भर में कार्य कर रही हैं। Prime minister की दूरदृष्टि से ही भारत में कोरोना-19 के संक्रमण पर काफी हद तक नियंत्रण पाया जा सका है। राज्यपाल ने कहा कि विकसित देशों की तुलना में भारत में अधिक जनसंख्या एवं आबादी के अधिक घनत्व के बाद भी कोविड-19 के संक्रमण से मरने वालों की संख्या कम रही है। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में भी कोरोना से बचाव एवं उपचार हेतु वृहद स्तर पर व्यवस्था की गयी है। लखनऊ में स्थापित किंग जार्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय एवं डाॅ0 ए0पी0जे0 अब्दुल कलाम प्राविधिक विश्वविद्यालय ने कोरोना की जांच एवं बचाव हेतु नये उपकरण विकसित किये हैं।
Governor ने कहा कि प्रधानमंत्री ने कोविड-19 से लड़ने में देश को सक्षम बनाने की अपनी योजनाओं को प्रारम्भ में ही लागू करना शुरू कर दिया था। प्रारम्भ में देश में कोविड अस्पतालों की कोई अवधारणा नहीं थी। आज देश में लगभग 700 से अधिक विशेष कोविड अस्पताल हैं, जिसमें आइसोलेशन बेड और आई.सी.यू. बेड हैं। कोरोना-19 की टेस्टिंग हेतु एक लैब थी और वर्तमान में 300 से अधिक टेस्टिंग लैब देश भर में कार्य कर रही हैं। Prime minister की दूरदृष्टि से ही भारत में कोरोना-19 के संक्रमण पर काफी हद तक नियंत्रण पाया जा सका है। राज्यपाल ने कहा कि विकसित देशों की तुलना में भारत में अधिक जनसंख्या एवं आबादी के अधिक घनत्व के बाद भी कोविड-19 के संक्रमण से मरने वालों की संख्या कम रही है। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में भी कोरोना से बचाव एवं उपचार हेतु वृहद स्तर पर व्यवस्था की गयी है। लखनऊ में स्थापित किंग जार्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय एवं डाॅ0 ए0पी0जे0 अब्दुल कलाम प्राविधिक विश्वविद्यालय ने कोरोना की जांच एवं बचाव हेतु नये उपकरण विकसित किये हैं।