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अचानक चर्चा में आई IIT-Kanpur की वेद- शास्त्र की वेबसाइट, रातों-रात हिट बढ़े

locationलखनऊPublished: Jan 09, 2018 01:28:50 pm

Submitted by:

Prashant Srivastava

IIT Kanpur की वेद और शास्त्र की वेबसाइट चर्चा में, 24 हजार हिट प्रतिदिन

लखनऊ. यूं तो आईआईटी कानपुर की वेद और शास्त्रों को लेकर बनी वेबसाइट दस साल पुरानी है लेकिन पिछले एक महीने में ये वेबसाइट काफी चर्चा में है। दरअसल पिछले कुछ दिनों से इस वेबसाइट https://www.gitasupersite.iitk.ac.in/ का पेज व्यूज औसतन पांच सौ प्रति दिन से पढ़कर 24 हजार प्रतिदिन हो गया है। ये बात सामने आने से सभी फैकल्टी हैरान हैं।
24,000 प्रति दिन पेज व्यूज

इस साइट को इंस्टिट्यूट की फैकल्टी व सरकार द्वारा सहायता प्राप्त रिसोर्स सेंटर फॉर इंडियन लैंग्वेज टेक्नोलॉजी सॉल्यूशन ने तैयार किया है। इसमें संस्कृत में लिखी जानकारियों को 11 भाषाओं में ट्रांसलेट किया गया है जिसमें असम की व उड़िया भाषा भी शामिल हैं। साइट से जुड़े प्रोफेसर्स का कहना है कि पहले इस वेबसाइट का ट्रैफिक रोजाना 500 हिट प्रतिदिन का रहता था लेकिन पिछले कुछ दिनों से 24,000 प्रति दिन पेज व्यू आ रहा है। इसके अलावा वॉट्सऐप ग्रुप पर भी इस वेबसाइट के यूआरएल को काफी सर्कुलेट किया जा रहा है।
वॉट्सऐप ग्रुप पर जो मैसेज वायरल हो रहा है उसमें लिखा है कि आईआईटी कानपुर द्वारा ऐसी वेबसाइट बनाई गई है जिसमें वेद व शास्त्रों की तमाम जानकारियां व अनोखे फैक्ट्स हैं। जबकि ये वेबसाइट तो दस साल पहले ही संस्थान द्वारा तैयार की गई थी।
प्रोफेसर भी हैरान

कंप्यूटर साइंस व इंजीनियरिंग डिपार्टमेंट के प्रोफेसर टीवी प्रभाकर ने इस वेबसाइट का डाटाबेस डिजाइन किया है। उनका कहना है कि दस साल पहले जब इस वेबसाइट को तैयार किया गया था तो इसका उद्देश्य भारत के पौराणिक ज्ञान को कंप्यूटर के जरिए लोगों तक पहुंचाने का था। उस वक्त इस वेबसाइट की इतनी चर्चा नहीं हुई थी जितनी आजकल हो रही है। उनका कहना है कि सोशल मीडिया व वॉट्सऐप के माध्यम से इस वेबसाइट का यूआरएल वायरल हो रहा है।
नब्बे के दशक में हुई थी वेबसाइट की प्लानिंग

प्रो.प्रभाकर के मुताबिक 24000 हिट प्रतिदिन का मतलब 4700 प्रतिशत पेज व्यूज़ का बढ़ना है। विदेश से भी कई लोग इस वेबसाइट को एक्सेस कर रहे हैं। ये सोशल मीडिया की पहुंच और ताकत का नतीजा है। उनके मुताबिक वेबसाइट के कंटेंट में कोई बदलाव नहीं किया गया है। आईआईटी कानपुर के डायरेक्टर मणींद्र अग्रवाल का कहना है कि वेबसाइट के टेक्स्ट को ट्रांसलेट करने का काम तो नब्बे के दशक से चल रहा है लेकिन अचानक से वेबसाइट का चर्चा में आना अच्छी बात है।
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