सीता के बहे रक्त का बदला लेने के लिए जब राम ने कौवे की फोड़ी आंख
लखनऊPublished: Nov 15, 2021 05:46:10 pm
रामघाट से दो किलोमीटर की दूरी पर मंदाकिनी नदी के किनारे जानकी कुंड स्थित है जो काफी खूबसूरत है। कहा जाता है कि वनवास के दौरान सीता यहीं पर स्नान करने के लिए आती थी। आज भी सीता के पदचिन्ह यहां पर मौजूद है। बड़ी संख्या में श्रद्धालु सीता माता के पदचिन्ह देखने के लिए यहां पहुंचते हैं। जानकी कुंड के पास ही रघुवीर मंदिर और संकट मोचन मंदिर स्थित है जिसकी दिव्यता देखने लायक है।
लखनऊ. मंदाकिनी नदी के तट पर बसा चित्रकूट धाम अपने ऐतिहासिक महत्व और प्राकृतिक सुंदरता के लिए प्रसिद्ध है। उत्तर प्रदेश व मध्य प्रदेश के बॉर्डर पर स्थित चित्रकूट धाम को पर्वत मालाएं और प्राकृतिक सुंदरता खास बनाती है। ऐतिहासिक धार्मिक मान्यताएं भगवान राम के भक्तों को चित्रकूट खींच ही लाता हैं। माना जाता है कि राम ने अपने बनवास का सबसे ज्यादा समय 11 साल 11 माह 11 दिन राम ने सीता व लक्ष्मण के साथ यहीं पर बिताया था। मंदाकिनी नदीं के किनारे बसे चित्रकूट में पूरे साल भक्तों का आना-जाना रहता है।