कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा शुक्रवार से दो दिनी लखनऊ दौरे पर है। प्रियंका ने शनिवार को अपने सारे निर्धारित कार्यक्रम को अचानक रद्द कर दिया। कांग्रेस महासचिव प्रियंका ने ट्वीट कर उन्नाव की घटना पर सरकार पर सवाल उठाए हैं। इसके बाद वह पीड़िता के परिवार से मिलने पहुंचीं। उन्होंने सरकार से पूछा, उन्नाव की पिछली घटना को ध्यान में रखते हुए सरकार को तत्काल पीड़िता को सुरक्षा क्यों नहीं दी गई? जिस अधिकारी ने उसका एफआईआर दर्ज करने से मना किया उस पर क्या कार्रवाई हुई? उप्र में रोज रोज महिलाओं पर जो अत्याचार हो रहा है, उसको रोकने के लिए सरकार क्या कर रही है?
प्रियंका गांधी ने अपने अगले ट्वीट में कहा, उन्नाव की दिवंगत पीड़िता का परिवार अपार दुख और गुस्से में है। सालभर से इस परिवार पर अत्याचार हो रहा था। पीड़िता के पिता को घर में घुसकर पीटा। उनका खेत जला दिया। उनकी नौ साल की पोती को स्कूल में जान से मारने की धमकी दी। महीनों केस दर्ज करने से अधिकारी टरकाते रहे।
प्रियंका ने अपने अगले अगले ट्वीट में लिखा कि रायबरेली कोर्ट के आदेश पर एफआईआर हुई मगर दो महीने के अंदर ही आरोपी को बेल मिल गई। पीड़िता रोज अकेले ट्रेन से रायबरेली अपना केस लड़ने जाती थी। उसे लगातार धमकाया जाता रहा। थाने में बार-बार गुहार लगाने के बाद भी उसे कोई सुरक्षा नहीं मिलती। और एक दिन पांच लोग मिलकर उसे जला देते हैं।
उन्होंने सरकार से सवाल किया, आखिर इसका जिम्मेदार कौन है? कोई तो जिम्मेदारी लेगा? सरकार किसके साथ खड़ी है? मुख्यमंत्री किसके साथ खड़े हैं? तंत्र किसके साथ खड़ा है? उप्र में लड़कियों और महिलाओं के लिए कोई जगह है? ये इंतिहा हो रही है जुल्म की।
उन्नाव दुष्कर्म पीड़िता की दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में शुक्रवार देर रात मौत हो गई। कांग्रेस महासचिव ने परिजनों के साथ मुलाकात कर अपनी संवेदनाएं प्रकट की और परिवार को न्याय दिलाने व हरसंभव मदद का आश्वासन दिया।