-देवरिया. तीन बेटों के साथ जहर खाकर इसलिए मर गयी क्योंकि देवरानी को शादी में मिलने वाले थे ज्यादा गहने-नोएडा. सांवले रंग था, लोग फब्तियां कसते थे, 11 वीं के छात्र ने तनाव में आकर 15वीं मंजिल से कूद कर दे दी जान-आगरा. टॉपर से जलता था दोस्त, बदनाम करने को रची घिनौनी साजिश, समलैंगिक बता किया फोटो वायरल
यह कैसा समाज…जिम्मेदार कौन : यूपी की इन तीन खबरों ने मचाई हलचल
पत्रिका न्यूज नेटवर्कलखनऊ. समाज लगातार तरक्की कर रहा है। हमने मंगल ग्रह को छू लिया है। पर मानव सोच को बदल पाना एक मुश्किल काम है। यूपी की इन तीन खबरों ने हमें सोचने पर मजबूर कर दिया है कि यह कैसा समाज बन रहा है, जहां कुछ लोग ईर्ष्या तो कुछ हीनभावना का शिकार होकर ऐसा अपराध कर रहे हैं कि, बाद में सिर्फ हाथ मलने के सिवा कुछ नहीं बचता है। इन तीन खबर में एक खबर यूपी के पिछड़े जिले देवरिया से है जहां देवरानी को शादी में मिलने वाले अधिक गहने होने की वजह से तीन बेटों के साथ जहर खाकर वह मर गयी तो एक आगरा जैसे विश्वप्रसिद्ध शहर की है, जिसमें अपने दोस्त के टॉपर होने की जलन ने दोस्त को, समलैंगिक बता कर बदनाम करने को घिनौनी साजिश रची। तीसरी खबर अत्याधुनिक शहर नोएडा से है जहां 11वीं का छात्र इस बात से तनाव में आ गया कि लोग उसके सांवले रंग पर फब्तियां कसते थे। अधिक परेशान होने पर उसने अपने घर की 15वीं मंजिल से कूद कर जान दे दी।
गुड़ के शौकीनों के लिए खुशखबरी, लखनऊ में आज से शुरू हो रहा है ‘गुड़ महोत्सव’देवरिया : शादी में देवरानी के ज्यादा गहने थे इसलिए बच्चों समेत जहर खाया यूपी के अंतिम जिले देवरिया से अनोखा मामला है। कटईलवा गांव की रंगीता निषाद के देवर की शादी तय हो गई। रंगीता खुशी-खुशी हर काम कर रही। अचानक उसे यह सूचना मिली कि उसकी देवरानी को शादी में चढ़ाने के लिए उससे ज्यादा गहने खरीदे गए है। फिर नाराज रंगीता ने ऐसा कदम उठाया कि हर कोई उफ्फ कर गया। रंगीता ने खुद और अपने तीन बेटों को मरने के लिए कीटनाशक दवा पिला दी। इसमें महिला के साथ उसके एक बेटे की मौत हो गई। जबकि दो बच्चे का इलाज चल रहा है।
आनंद निषाद के छोटे भाई अंबुज की मई माह में शादी होनी है, जिसकी तैयारियां परिवार कर रहा था। लोग बताते है कि अधिक गहने की जानकारी होने के बाद रंगीता निषाद रोज परिवार को धमकी देती थी, पर कोई समझ नहीं पाया। उसने परिवार से बातचीत बंद कर दी थी। वह बच्चों के साथ मारपीट करती थी। जब परिवार के लोग बच्चों को पीटने की वजह पूछते तो कहती हम एक दिन बता देंगे क्यों गुस्सा हैं। लेकिन पति के साथ साथ-सास ससुर इस धमकी को नहीं समझ पाए थे। आखिरकार रंगीता निषाद ने तीन बच्चे शिवराज (6 वर्ष), जयराज (10 वर्ष) और रामराज (5 वर्ष) साथ जहर खा लिया।
आगरा. अपने टॉपर दोस्त से वह जलता था, बदनाम करने को रची साजिश पढ़ाई में टाॅॅपर साथी को फिसड्डी बनाने के लिए एक दोस्त ने अपने दोस्त के लिए साजिश रची और अपराध कर बैठा।। उसने दोस्त के फोटो को मोर्फ करके इंटरनेट मीडिया में वायरल कर दिए। इसमें टाॅॅपर को समलैंगिक बताया। पुलिस की साइबर सेल ने जांच शुरू की। सच्चाई सामने आई दोस्त पकड़ा गया।
मामला जगदीशपुरा क्षेत्र निवासी बी.काम तृतीय वर्ष के छात्र का है। छात्र अपने कालेज का टाॅॅपर है। कुछ महीने से इंटरनेट मीडिया पर कोई उसे बदनाम कर रहा था। छात्र की शिकायत पर जगदीशपुरा थाने में मुकदमा दर्ज किया गया। छानबीन में जब मामला सामने आया तो पुलिस हैरान रह गई। उसे बदनाम करने वाला उसका अपना ही दोस्त था। पुलिस और साइबर सेल ने आरोपित को दबोच लिया। पुलिस पूछताछ में आरोपित ने बताया कि, वह अपने दोस्त से आगे निकलना चाहता था, मेहनत भी कर रहा था पर, हर बार वह नाकाम हो रहा था। इस पर उसने साजिश रची। जिससे उसका दोस्त पढ़ाई में पिछड़ जाए। इंस्पेक्टर जगदीशपुरा बीएन सिंह ने बताया कि आरोपित को गिरफ्तार करके जेल भेजा गया है।
नोएडा. सांवले रंग पर फब्तियां कसते थे, छात्र ने 15वीं मंजिल से कूद कर जान दी गौतमबुद्ध नगर के सेक्टर-49 कोतवाली क्षेत्र के सेक्टर-78 स्थित महागुन मॉडर्न सोसाइटी में 11वीं कक्षा के छात्र संयम (17 वर्ष) ने 15वीं मंजिल से कूदकर जान दे दी। सिर्फ इसलिए कि वह सांवले रंग का था, और लोग उस पर फब्तियां कसते थे। सुबह जब लोग मॉर्निंग वॉक पर निकले तो मामले की जानकारी हुई। पुलिस को सूचना दी गई। कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है।
जानकारी के मुताबिक मोबाइल कंपनी में नौकरी करने वाले प्रशांत गढियार परिवार समेत महागुन मॉडर्न सोसाइटी में रहते हैं। उनका बेटा संयम शहर के एक नामी स्कूल में 11वीं में पढ़ाई कर रहा था। शनिवार सुबह करीब 4.30 बजे संयम ने सोसाइटी की 15वीं मंजिल से कूदकर आत्महत्या कर ली। परिजनों ने पुलिस को बताया कि छात्र अपने सांवले रंग को लेकर तनाव में रहता था। जिससे वह परेशान रहता था। एडीसीपी रणविजय सिंह ने बताया कि, छात्र का रंग सांवला था, जिस वजह से वह बहुत परेशान रहता था। इससे पहले भी छात्र ने इसी तरह का प्रयास किया था। उस वक्त परिवार के लोगों ने उसे समझा बुझाकर शांत कर दिया था, लेकिन रविवार सुबह उसने यह कदम उठाया।