मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ.नरेंद्र अग्रवाल ने बताया कि दंपत्तियों में प्रजनन स्वास्थ्य में सुधार के लिए पुरुषों की सहभागिता बहुत महत्वपूर्ण है। केंद्र सरकार द्वारा इस संबंध में अनेक प्रयास किया जा रहे हैं लेकिन पुरुष नसबंदी की स्वीकृति बहुत ही कम है। इसके आंकड़े निराशाजनक हैं। इस पखवाड़े को मनाने का मुख्य उद्देश्य परिवार कल्याण कार्यक्रमों में पुरुषों की भागीदारी को बढ़ाते हुये कार्यक्रम को गति देना है।
परिवार नियोजन कार्यक्रम के नोडल अधिकारी व अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. अनूप श्रीवास्तव ने बताया पखवाड़ा दो चरणों में मनाया जाएगा। पहला चरण 21 नवम्बर से 27 नवम्बर डॉक्टर तक दंपत्ति संपर्क चरण के रूप में मनाया जाएगा। इसके तहत एएनएम, आशा द्वारापुरुष नसबंदी के इच्छुक दंपत्तियों को चिन्हित कर उनकर उनका पंजीकरण किया जाएगा। डॉ. अनूप श्रीवास्तव ने बताया – 28 नवम्बर से 4 दिसम्बर तक सेवा प्रदायगी चरण मनाया जाएगा। पखवाड़े के दौरान जिले के सभी सरकारी स्वास्थ्य केन्द्रों पर परिवार नियोजन के सभी साधनों की उपलब्धता सुनिश्चित की जाएगी | इस दौरान आशा कार्यकर्ता द्वारा घर-घर जाकर परिवार नियोजन के अस्थायी साधनों का वितरण किया जाएगा एवं उनका अनुश्रवण भी किया जाएगा।
डॉ. अनूप श्रीवास्तव ने बतायाकि इस पखवाड़े के दौरान पुरुष नसबंदी करवाने वाले पुरुष नसबंदी चैंपियन्स को चिन्हित किया जायेगा और उन्हें समुदाय में एक आदर्श दंपत्ति के रूप में प्रस्तुत किया जायेगा।