मायावती ने कहा कि जब बीजेपी एण्ड कम्पनी के लोग व इनके रिश्तेनाते रातों-रात धन्नासेठ बन जाते हैं तो वे उसे जायज ठहराते हैं। यदि हमारे लोग अपने खुद के कारोबार करने के मामले में थोड़ा भी आगे बढ़ते है तो तब फिर इन्हें काफी ज्यादा तकलीफ होती है। फिर वे सत्ता व सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग करके अपना इनसे जातिवादी द्वेष निकालते हैं जो जग-जाहिर है व अति-निन्दनीय भी है।
बसपा नेता ने कहा कि यदि बीजेपी के लोग अपने आपको ’हरिश्चन्द्र’ मानकर चलते हैं तो वे एक बार यहाँ सभी की जाँच करवा लें कि राजनीति में आने के पहले उनके व उनके परिवार वालों के पास कितनी सम्पत्ति थी और अब कितनी है ताकि देश के सामने दूध का दूध व पानी का पानी साफ हो जाये। उन्होंने आरोप लगाया कि चुनाव के दौरान लगभग 2 हजार करोड़ से ज्यादा धन जो बीजेपी के बैंक खाते में आया, उसका भी खुलासा देश के सामने नहीं किया गया है कि यह धन उनके पास कहाँ से आया? क्या यह बीजेपी की बेनामी सम्पत्ति नहीं है?
पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने कहा कि बीजेपी नरेन्द्र मोदी व अमित शाह के नेतृत्व में दूसरी बार केन्द्र की सत्ता में आई है और इनकी पार्टी ने देश में हर जगह अरबों-खरबों की सम्पत्ति खरीदी है। यह धन बीजेपी के पास कहाँ से आया है, जिसका हिसाब जनता के सामने रखने में बीजेपी/आर.एस.एस. क्यों घबराती है? क्या यह अकूत धन भी बीजेपी की बेनामी सम्पत्ति नही है?