पिछले 15 दिनों में 65 से ₹70 मोरंग के दाम प्रति घन फुट की दर से बाजार में उपलब्ध हो रहे थे लेकिन इन दिनों घरेलू के लिए 95 और व्यवसाई कामों के लिए 105 रु प्रतिघन फुट की दर से मिल रही है। महज 15 दिनों में रेट 30 फ़ीसदी ऊपर चले जाने के पीछे एक बड़ा कारण यह भी है कि ट्रकों के न आने से बाजार में उपखनिजों की उपलब्धता कम हो गई है। ट्रांसपोर्टर लोगों का कहना है कि प्रदेश में इन दिनों बालू मोरंग कही नहीं उठ रही हैं। कुछ लोगों ने जो स्टॉक कर रखा है, वहीं बेंच रहे हैं। सरकार-विभाग ने बफर स्टॉक नहीं बनाया है इसलिय़े रिमांड के अनुसार आपूर्ति नहीं है। 15 हजार से अधिक ट्रक इन दिनों खड़े हो गये हैं।
और बढ़ सकते हैं दाम
करोबारियों के कहना है कि यही हालात रहे तो मोरंग के दामों में औऱ बढ़ोत्तरी होगी। 150 रु प्रतिघन फुट तक मोरंग बिक सकती है। मानसून में जब बड़ी खदानें बंद हो जाती हैं तो निजी कृषि भूमि या पट्टा वाली जमीन पर खनन जारी रहता है ।