बैंक ग्राहक संग बैंक नहीं कर सकेंगे मनमानी भारतीय रिजर्व बैंक ने क्रेडिट कार्ड और डेबिट कार्ड जारी करने और इनको ऑपरेट करने के नियमों में कुछ बदलाव किया है। इन नए नियमों को पेमेंट बैंक, राज्यों के सहकारी बैंक और जिला केंद्रीय सहकारी बैंकों को छोड़कर देश में चल रहे सभी बैंकों और गैर-बैंकिंग वित्तीय संस्थानों को मानना अनिवार्य होगा। आरबीआई के नए नियमों के तहत अब क्रेडिट कार्ड और डेबिट कार्ड इश्यू करने वाले बैंक ग्राहकों के साथ मनमानी नहीं कर सकेंगे। इन नियमों में ग्राहकों को थोड़ी राहत मिलने वाली है।
500 रुपए रोजाना देना होगा जुर्माना आरबीआई के नए नियमों के तहत अगर ग्राहक, क्रेडिट कार्ड और डेबिट कार्ड जारी करने वाली संस्था से अगर यह अनुरोध करे कि, कार्ड बंद कर दिया जाए तो इसमें देरी करने पर संस्था को जुर्माना भरना पड़ेगा। अगर कार्डधारक सभी बकायों का पेमेंट कर कार्ड को बंद करने के लिए कहता है तो उस संस्था को 7 दिन के अंदर कार्ड बंद करना होगा। ऐसा नहीं करने पर जुर्माना देना होगा। अकाउंट क्लोज करने के दिन तक 500 रुपए रोजाना जुर्माना देना होगा।
ईमेल या एसएमएस दें जानकारी कार्ड बंद करने की जानकारी डाक या कूरियर से नहीं तुरंत ईमेल या एसएमएस के जरिये देनी होगी। क्रेडिट कार्ड जारी करने वाली संस्था को अपनी वेबसाइट पर हेल्पलाइन नंबर, ई-मेल आईडी, आईवीआर, वेबसाइट पर ठीक से लिखना होगा।
एक साल यूज न होने पर बंद होगा क्रेडिट कार्ड आरबीआई के अनुसार, अगर क्रेडिट कार्ड जारी होने की तारीख से करीब एक साल से ज्यादा समय तक प्रयोग नहीं किया जाता है तो बैंक या संस्था कार्डहोल्डर को सूचना देकर इसे बंद कर सकती है। अगर इसके बाद भी 30 दिन तक कार्डहोल्डर कोई जवाब नहीं देता तो बैंक उस कार्ड को बंद कर सकेगा। अगर क्रेडिट कार्ड बंद होने के बाद भी क्रेडिट कार्ड होल्डर के कार्ड में कोई बैलेंस है तो उसे बैंक अकाउंट को ट्रांसफर करना होगा।