देवों के देव भगवान शंकर को समर्पित उड़ान सावन उत्सव का उदघाटन लोक गायिका रंजना मिश्रा, कथक नृत्यांगना मंजू मलखानी और लोक नृत्यांगना सरिता सिंह के दीप प्रज्जवलन से हुआ। विघ्न विनाशक भगवान गणेश के चरणों अर्पित गणेश वंदना के उपरान्त सरिता सिंह के नृत्य निर्देशन में ढोलक, मंजीरे और झांझ के संगीत के बीच सीमा सिंह की गाई सावन की कजरी हरे रामा भीजत मोर चुनरिया बदरिया बरसे रे हारी पर मोहिनी, कीर्ति, बीनू, सविता कनौजिया, रचना, कल्पना, सुनीता गुप्ता, रुचि और पूजा शुक्ला ने आकर्षक नृत्य प्रस्तुत कर मनोरम दृश्य सृजित किया।
इसी क्रम में बनारसी कजरी झूला झूलै नंदलाल, संग राधा गुजरी कहे राधा जी पुकार, पेगें मार सरकार पर मीरा, गार्गी गौतम, जान्वी गुप्ता, कुसुम पान्डेय, स्नेहा, सुनीता पटेल, रचना उपाध्याय, डॉ रेखा और भारती सिंह नृत्य प्रस्तुत कर मंत्रमुग्ध कर दिया।
पारम्परिक लोक संगीत से सजे इस कार्यक्रम के अगले सोपान में अवधी झूला गीत सिया संग झूले बगिया में राम ललना पर सरिता सिंह, कल्पना, मोना वर्मा, रोली जयसवाल, पूजा गुप्ता, प्रतिभा सिंह ने मनमोहक नृत्य प्रस्तुत कर लोगों की तालियां बटोरीं। इस अवसर पर सावन मास के प्रतीक हरे रंग से सराबोर सोलह श्रृंगार से परिपूर्ण महिलाओं ने बेस्ट मेहंदी, बेस्ट चूड़ी, बेस्ट साड़ी, बेस्ट कैटवाक, बेस्ट हेयर जैसी अन्य प्रतियोगिताओं में भाग लेकर आकर्षक उपहार भी जीते।