ग्राम्य विकास विभाग के प्रमुख सचिव अनुराग श्रीवास्तव ने बताया कि अभी तक प्रदेश के विधायकों और विधान परिषद सदस्यों को उनके विकास को 1.5 करोड़ रुपये सालाना विधायक निधि मिलती है, जिसे बढ़ा कर अब दो करोड़ रुपये कर दिया गया है। इसके साथ ही जीएसटी के भुगतान के लिए उन्हें 40 लाख रुपये की और व्यवस्था की गई है। इस तरह अब उन्हें 2.4 करोड़ रुपये सालाना दिए जाने की व्यवस्था की गई है।
2012 में अखिलेश सरकार ने बढ़ाए थे 25 लाख रुपये
प्रदेश में इससे पहले 2012 में अखिलेश सरकार में विधायक निधि में बढ़ोतरी की गई थी। तत्कालीन सीएम अखिलेश यादव ने विधायक निधि को 1 करोड़ 25 लाख रुपये से बढ़ाकर डेढ़ करोड़ रुपये किया था। उस समय अखिलेश यादव ने विधायकों को विधायक निधि से 20 लाख रुपये की एसयूवी गाड़ी खरीदने की छूट भी दी थी लेकिन विपक्ष के विरोध के बाद उन्हें ये फैसला वापस लेना पड़ा था।