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बिना तलाक दूसरे पुरुष के साथ रहने की याचिका खारिज

locationलखनऊPublished: Oct 06, 2018 02:11:30 pm

Submitted by:

Ashish Pandey

हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच में महिला और उसके साथ ने दायर की थी याचिका।

high court

बिना तलाक दूसरे पुरुष के साथ रहने की याचिका खारिज

लखनऊ. इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने बिना तलाक दिए पति को छोड़ दूसरे पुरुष के साथ रहने की मांग वाली याचिका को खारिज कर दिया है। यह याचिका कोर्ट में दो बच्चों की मां व उसके साथी ने दाखिल की थी। कोर्ट ने इस याचिका पर अपने स्तर से कोई आदेश पारित करने से इनकार कर दिया। बेंच ने याचिका को खारिज करते हुए आदेश दिया कि केस के तथ्य व परिस्थितियों को देखते हुए, इसमें किसी प्रकार के निर्देश जारी करने की आवश्यकता प्रतीत नहीं होती है।
यह आदेश न्यायमूर्ति अजय लाम्बा व न्यायमूर्ति डीके सिंह की खंडपीठ ने महिला व उसके साथी की याचिका पर दिया। याचिका में कहा गया था कि करीब दस साल पहले उसकी शादी सीताराम के साथ हुई थी। उसे सात साल और तीन वर्ष की दो बच्चियां हैं। मायका बिहार में है लिहाजा उसके मायके वाले उसकी खोज-खबर नहीं ले पाते हैं। पति ने उसे मारपीट कर 20 जुलाई को घर से निकाल दिया जिसके बाद वह उसी गांव के एक व्यक्ति के साथ अपनी मर्जी से रह रही है और उसी के साथ अपना जीवन सुरक्षित महसूस करती है।
…तो उसे कानून का सहारा लेना चाहिए था
याचिका का विरोध करते हुए अपर शासकीय अधिवक्ता रवि सिंह सिसोदिया ने बेंच के सामने दलील दी कि पति ने उक्त व्यक्ति के खिलाफ बहराइच कोतवाली देहात में आईपीसी की धारा 498 के तहत एनसीआर दर्ज कराई है जिसमें उसने उक्त व्यक्ति पर अपनी पत्नी को भगा ले जाने का आरोप लगाया है। लिहाजा दर्ज एनसीआर पर नियमानुसार कार्यवाही की जाएगी। साथ ही यह भी तर्क दिया गया कि यदि पति-पत्नी के साथ मारपीट करता तो उसे कानून का सहारा लेना चाहिए था जबकि ऐसा न करते हुए याची बिना पति से तलाक लिए कोर्ट के आदेश का सहारा लेकर दूसरे व्यक्ति के साथ रहना चाहती है। याचिका पर सुनवाई के बाद कोर्ट ने मामले में दखल देने की आवश्यकता न पाते हुए याचिका को खारिज कर दिया।
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