राज्यपाल ने जेल चिकित्सालय में कैदियों के दुःख एवं कष्ट को देखकर जिलाधिकारी से गम्भीर रूप से बीमार वृद्ध महिलाओं तथा 80 वर्ष से ऊपर की अशक्त महिलाओं की रिहाई का प्रस्ताव भेजने के निर्देश दिये। उन्होंने महिला कैदियों को सम्बोधित करते हुए कहा कि यहां से जाने के बाद आप भविष्य में कोई ऐसा कार्य नहीं करेंगी, जिससे आप को दोबारा जेल में आना पड़े। गुस्से एवं उत्तेजना में किया गया कार्य हमेशा कष्टदायक होता है। उन्होंने महिला कैदी के साथ रह रहे छोटे-छोटे बच्चों को उपहार भी दिया।इस अवसर पर राज्यपाल ने कैदियों के उपयोगार्थ 5 सिलाई मशीन, 10 कैसरोल, 1 ई-रिक्शा, 10 पैकेट स्टेशनरी किट, 12 पैकेट लड्डू, 9 स्वेटर एवं 50 पैकेट चाकलेट तथा दृष्टिबाधित के लिए 2 स्मार्ट केन व 2 ब्रेल किट को भेंट किया।