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धूम्रपान पड़ सकता है महंगा, स्मोकिंग की आदत बढ़ा सकती है आपके इंश्योरेंस का प्रीमियम, जानें क्या है नियम

locationलखनऊPublished: Oct 12, 2020 10:29:06 pm

Submitted by:

Karishma Lalwani

धूम्रपान करना केवल सेहत के लिए ही हानिकारक नहीं हो सकता बल्कि आपकी जेब पर भी भारी पड़ सकता है। ऐसा इसलिए क्योंकि ज्यादा धूम्रपान करने पर आपको ज्यादा प्रीमियम पे करना पड़ सकता है।

धूम्रपान पड़ सकता है महंगा, स्मोकिंग की आदत बढ़ा सकती है आपके इंश्योरेंस का प्रीमियम, जानें क्या है नियम

धूम्रपान पड़ सकता है महंगा, स्मोकिंग की आदत बढ़ा सकती है आपके इंश्योरेंस का प्रीमियम, जानें क्या है नियम

लखनऊ. धूम्रपान करना केवल सेहत के लिए ही हानिकारक नहीं हो सकता बल्कि आपकी जेब पर भी भारी पड़ सकता है। ऐसा इसलिए क्योंकि ज्यादा धूम्रपान करने पर आपको ज्यादा प्रीमियम पे करना पड़ सकता है। बीमा कंपनियां सामान्य व्यक्ति के मुकाबले धूम्रपान करने वाले व्यक्ति से ज्यादा प्रीमियम वसूलती हैं। बीमा कंपनियों में किसी नशे आदि की जानकारी देनी होती है। जोखिम के आधार पर प्रीमियम तय किया जाता है, जो धूम्रपान करने वाले व्यक्तियों के मामले में अधिक होता है।
ज्यादा प्रीमियम मतलब ज्यादा नुकसान

अमूमन धूम्रपान करने वाले व्यक्ति के मुकाबले सामान्य व्यक्ति से बीमा कंपनियां कम प्रीमियम वसूलती हैं। इससे जाहिर है कि ज्यादा प्रीमियम वसूलने वाले को सामान्य व्यक्ति के मुकाबले ज्यादा हानि होती है। उदाहरण के तौर पर आप धूम्रपान नहीं करते हैं तो सबसे निचले प्रीमियम स्तर पर सालाना 6490 रुपये बचने का मतलब हर माह करीब 542 रुपये की बचत है। इससे 30 साल में करीब 1.95 लाख रुपये बचेंगे। यदि 542 रुपये हर माह एसाआईपी में 12 फीसदी के अनुमानित रिटर्न पर निवेश करेंगे तो 30 साल में आपकी पूंजी बढ़कर करीब 16.54 लाख रुपये हो जाएगा। इस तरह धूम्रपान करने वाले व्यक्ति को ऊंचे प्रीमियम की वजह से करीब 16 लाख रुपये का नुकसान हुआ।
बीमा दावा हो सकता है रद्द

कई बार लोग महंगे प्रीमियम से बचने के लिए पॉलिसी जारी करने के समय बीमा कंपनी से अपनी धूम्रपान की आदतों का खुलासा नहीं करते हैं। ऐसा होन पर बीमा दावा करते समय कंपनी को जानकारी मिलती है तो वह आपके दावा को रद्द भी कर सकती है। कई बार कंपनियां मेडिकल टेस्ट भी कराने का विकल्प देती हैं।

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