नेपाल के फैक्ट्रियों का माल लेकर बुटवल, भैरहवा, दुम्कीबास, काठमाण्डौ, लमही, दांग आदि जाने वाले मालवाहक ट्रकों का शोषण बढ़नी कस्बे में खुले आम चल रहा है। नेपाल की अंतरराष्ट्रीय सीमा से सटे इस कस्बे से दिनभर सैकड़ों सीमेंट बनाने के कच्चे माल फ्लाई ऐश, क्लिंकर लदे ट्रक नेपाल जाते हैं। इन ट्रकों से इंट्री व ओवर लोडिंग के नाम पर अवैध वसूली पुलिस का पुराना धंधा है। खुद किसी तरह के आरोप से बचने के लिए पुलिस के जिम्मेदार अधिकारियों ने नया फार्मूला निकाल वसूली का काम कमीशन पर निजी एजेंट रखकर उनके द्वारा करवा रही है।
वसूली में शामिल पुलिस के निजी कमीशन एजेंट
इस तरह चलता है वसूली का खेल
ट्रकों से की जा रही अवैध वसूली का खेल बहुत चालाकी से खेला जाता है। इसमें शामिल पुलिस के जवान कस्बे के बस स्टॉप तिराहे पर ट्रैफिक कंट्रोल करने के नाम पर मौजूद रहते हैं, उनमें से एक जवान वहां से गुजरने वाले ट्रकों का नंबर व संख्या नोट करता है। यहां से गुजरकर ये ट्रक जब सैक्रेड हर्ट्स पब्लिक स्कूल के पास नेपाल जाने वाले मोड़ पर पहुंचते हैं तो वहां पहले से मौजूद निजी कमीशन एजेंट प्रति ट्रक 100/₹ की वसूली करते हैं। इस तरह अवैध वसूली का ये खेल दिन भर जारी रहता है। शाम होते ही पुलिस के जवान निजी कमीशन एजेंट के पास आकर अपनी पर्ची में लिखी ट्रकों की कुल संख्या के मुताबिक हिसाब लेकर चले जाते हैं। बदले में इन निजी कमीशन एजेंटों को उनका कमीशन उसी समय दे दिया जाता है।
‘अगर ट्रकों से अवैध वसूली की जाती है तो वह गलत है। वायरल वीडियो की जांचकर दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।’
– डॉ. धर्मवीर सिंह
पुलिस अधीक्षक