scriptडर के आगे जीत है, सफलता के लिए लेना सीखें जोखिम  | Learn to take risks for success | Patrika News

डर के आगे जीत है, सफलता के लिए लेना सीखें जोखिम 

Published: Dec 20, 2015 12:18:00 am

बिजनेस में न तो रिस्क से बचें, न ही सब कुछ दांव पर लगा दें।

risks for success

risks for success

जयपुर। बिजनेस में सारा खेल रिस्क का है लेकिन बिजनेस और जुए के रिस्क में अंतर है। जुए में आप कुछ ऐसा रिस्क उठाते हैं कि या तो आर या पार। वहां आपका सब कुछ दांव पर होता है, जबकि बिजनेस के रिस्क में आप सोच समझकर जोखिम लेते हैं। यह रिस्क कैलकुलेटेड रिस्क होता है और इसके तहत आप अपने आपको भारी मुनाफे के साथ-साथ बड़े नुकसान के लिए भी तैयार करके चलते हैं। ऐसा रिस्क लेना सीखिए तभी आगे बढ़ेंगे।

आधार हो जरूर
बिजनेस में नए-नए कदम उठाते समय आपके दिमाग में यह क्लीयर होना चाहिए कि आपका मूल आधार क्या है और आप आगे बढ़कर क्या हासिल करना चाहते हैं। इस अप्रोच में आप मूल आधार को बचाए रखने के उपाय के साथ में रिस्क लेते हैं।

शुरुआत हो छोटी
जब किसी कदम को उठाने में ज्यादा नुकसान की संभावना हो, तो ऐसे रिस्क के समय आपको छोटे कदम बढ़ाने चाहिए। इस अप्रोच से आप मौजूदा स्थिति और अपनी संभावना का परीक्षण भी कर लेते हैं और आगे बढऩे का हौसला भी आ जाता है। इससे सफलता मिलने की संभावना बढ़ती है।

रिस्क मैनेजमेंट
कैलकुलेटेड रिस्क का मूल रिस्क मैनेजमेंट से जुड़ा है। इसका अर्थ है कि आपके पास एक डिटेल्ड चार्ट होगा कि कहां-कहां और क्या-क्या जोखिम है और कैसे उससे निपटा जाएगा? यह प्लानिंग आपके रिस्क को कहीं आसान बना देती है। इसलिए प्लानिंग करना बहुत जरूरी है।
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