मंडला

बारिश में हाईवे पर पहाड़ दरकने का खतरा

टूट टूट कर गिर रहे पत्थर, कभी भी हो सकता है बड़ा हादसा

मंडलाAug 02, 2021 / 12:22 pm

Mangal Singh Thakur

There is an increased risk of mountain cracking on the highway in the

मंडला. नेशनल हाइवे 30 में बारिश के बाद कीचड़ में वाहनों के जाम में फंसने की घटना के साथ एक और मुसीबत सामने आ गई है। हाइवे को तैयार करने के लिए बरेला से नारायणगंज के बीच कई पहाड़ों की कटाई की गई है। चार स्थानों पर पहाड़ों को बीच से काटकर उसमें से रास्ता निकाला गया है जो अभी निर्माणाधीन है। इन ऊंची पहाडिय़ों को सीधी ऊंचाइयों में काटा गया है और अब इनमें से पत्थर टूटकर निर्माणाधीन हाइवे पर गिर रहे हैं। बारिश के कारण पहले ही अधूरे हाइवे से गुजरना खतरनाक साबित हो रहा है। अब ऐसे में बारिश के दौरान हाइवे पर पहाड़ी चट्टानों के धंसकने का खतरा बढ़ता जा रहा है।
टूटकर गिर रहे पत्थर
बीजाडांडी के उदयपुर के नजदीक मोइयानाला से मंडला के कटरा क्षेत्र तक नेशनल हाइवे 30 का निर्माण कार्य पिछले छह वर्षों में भी पूरा नहीं हो सका है। इस हाइवे को बनाने में चार से पांच पहाडिय़ो को काटकर उसके बीच से रास्ता बनाया गया है। इसके अलावा कई क्षेत्रों में सड़क की चौड़ाई को बढ़ाने के लिए सड़क के दोनों ओर स्थित पहाडिय़ों की कटाई भी की गई है। इन सभी पहाडिय़ों को सीधी ऊंचाई में काटा गया है। पहाड़ी काटने के बाद उनमें फंंसे पत्थरों को नीचे गिरने से रोकने के लिए कोई इंतजाम नहीं किए गए हैं। जबकि ऐसी पहाडिय़ों को काटने के बाद जनधन की सुरक्षा को देखते हुए काटी गई पहाडिय़ों में जालियां लगाई जाती है और उसे कांक्रीट वॉल का सहारा दिया जाता है ताकि पहाड़ धसके नहीं। लेकिन इस हाइवे निर्माण के दौरान ऐसी कोई भी तैयारी नहीं की गई है।
पहले भी धंसक चुकी है पहाड़ी
इससे पहले भी बारिश के दौरान बबैहा घाट व चिरई डोंगरी के बीच पर पहाड़ों से पत्थर गिर कर अधूरे और निर्माणाधीन हाइवे पर आकर गिर चुके हैं और इसकारण इस क्षेत्र में घंटों जाम की स्थिति बनी रही। धंसकी हुई चट्टान के दोनों ओर वाहनों की कतार लग गई। सड़क निर्माण कंपनी के कर्मचारियों के साथ, बीजाडांडी पुलिस, टिकारिया पुलिस, मंडला यातायात पुलिस टीम को मौके पर स्थिति संभालनी पड़ी। जेसीबी व अन्य मशीनों की मदद से पत्थर व मुरूम हटवाया गया। लगभग 5 घंटों के जाम के बाद स्थिति बहाल हुई।
कलेक्टर के आदेश ताक पर
बबैहा घाट-चिरईडोंगरी के बीच पहाड़ के धंसकने के मामले को जिला प्रशासन ने तत्काल संज्ञान में लिया और सड़क निर्माण कंपनी को इसकी पुनरावृत्ति से रोकने के लिए सख्त निर्देश दिए। पहाड़ों को धंसकने से रोकने के लिए आवश्यक इंतजाम करने को कहा गया। साथ ही हाइवे निर्माण कार्य को यथाशीघ्र पूरा करने के लिए निर्देश दिए गए। लेकिन कलेक्टर हर्षिका सिंह के उक्त आदेशों को ताक पर रख दिया गया है और सड़क निर्माण कंपनी की लापरवाही यथावत है।
बरेला से सीख नहीं
नेशनल हाइवे 30 का निर्माण कार्य जब शुरू हुआ था उस दौरान बरेला घाट को भी सीधी ऊंचाई में काटा गया था इस घाटी में भी लगातार पत्थरों एवं चट्टानों का गिरना जारी रहा। जिसे देखते हुये कुछ समय के लिये इस मार्ग को बंद भी किया गया था। जब सड़क निर्माण कंपनी ने सुरक्षा के उपायों के साथ इस निर्माण कार्य में परिवर्तन किया। तब कहीं जाकर इस मार्ग से दोबारा आवागमन शुरू किया गया। लेकिन इस गलती से सड़क निर्माण कंपनी ने कोई सीख नहीं ली उलटे नारायणगंज क्षेत्र में ठीक बरेला की तरह पहाड़ों की कटाई की गई जो बहुत ही खतरनाक है। पहाड़ों की सीधी कटाई कभी भी किसी बड़ी दुर्घटना का कारण बन सकती है। मौसम में परिवर्तन के चलते इन पहाड़ों से यदि कभी कोई चट्टान टूटकर नीचे सड़क पर गिरती है तो बड़ी दुर्घटना हो सकती है।
विशेष तथ्य
इन स्थानों पर पहाड़ धंसकने का खतरा
* बबैहा घाटी
* चिरईडोंगरी क्षेत्र
* नारायणगंज के नजदीक भावल क्षेत्र
* नारायणगंज के समीप सहजनी क्षेत्र

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