मंडलाPublished: Oct 02, 2019 08:01:55 pm
Mangal Singh Thakur
अब झोपड़ी में काटना पड़ रहा समय
अभिशाप बन गया स्कूल का उन्नयन
मंडला. स्कूल का उन्नयन नौनिहालों के लिए मुसीबत बन गया है। मिडिल स्कूल संचालित करने के लिए प्राइमरी स्कूल की बिल्डिंग को ले लिया गया है। इस स्थिति में प्राइमरी स्कूल अब झोपड़ी में लगानी पड़ रही है। माध्यमिक स्कूल की शिक्षा देने के लिए प्राथमिक स्कूल के बच्चों के भविष्य को अंधकार में डाला जा रहा है। मामला मंडला के नारायणगंज ब्लॉक के वन ग्राम घुघरी का है। जहां शासकीय प्राथमिक शाला के बच्चों को शिक्षा देने के लिए एक झोपड़ी में पाठशाला लगाई जा रही है। 4-5 वर्ष पहले गांव के बच्चों को माध्यमिक शाला की सौगात मिली थी। लेकिन यह सौगात नौनिहालों के लिए मुसीबत बन गई। माध्यमिक शाला का भवन स्वीकृत न होने से प्राथमिक शाला के भवन में बैठ बच्चों को शिक्षा दिलाई दी जा रही है। लेकिन प्राथमिक शाला के लगभग 35 बच्चों के लिए बैठक की कोई उचित व्यवस्था नहीं है। अब अभिभावक भी माध्यमिक शाला खुलने से परेशान है। शिक्षकों के अनुसारए कई बार शासन-प्रशासन से गुहार लगाई, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई।
टपकती झोपड़ी में पढऩे मजबूर नौनिहाल
नौनिहालों को भरी बरसात में टपकती झोपड़ी के नीचे बैठकर पढ़ाई करनी पड़ रही। हालांकि बच्चों की पढ़ाई बाधित न हो इसलिए गांव वालों की मदद से वैकल्पिक व्यवस्था के तौर पर एक झोपड़ी में बच्चों को पढ़ाया जा रहा है। बारिश के दौरान चारों तरफ से पानी भर जाता है। जिससे बच्चों की छुट्टी करनी पड़ती है वहीं खराब मौसम में भी अभिभावक भी बच्चों को स्कूल नहीं भेजते। खेल मैदान न होने से बच्चो को खेलने के लिए भी अव्यवस्था है। बच्चे महज मध्यान्ह भोजन के लिए ही स्कूल पहुंचते हैं वहीं खाने के बाद अपने बर्तन भी धोते हैं।
धार्मिक आयोजन के लिए तैयार की गई थी झोपड़ी
ग्राम सरपंच जठिया बाई एवं सेवानिवृत शिक्षक जेेएस कुर्राम, भागचंद कुलस्ते, सोनसिंह कुर्राम, मुनवासिंह, सद्दी धुर्वे, गनेशा एवं ग्राम के अनेक ग्रामीणों ने शिक्षा की व्यवस्था ठीक करने के साथ ही माध्यमिक शाला भवन की मांग की है। ग्रामीणों का कहना है कि प्राथमिक शाला के छात्र-छात्राएं जिस झोपड़ी में अध्ययन कर रहे हैं वह झोपड़ी ग्रामीणों द्वारा रंगमंच के रूप में उपयोग की जा रही थी। सामाजिक व धार्मिक आयोजन के लिए ग्रामीणों के सहयोग से झोपड़ी का निर्माण किया गया था। लेकिन बच्चों की शिक्षा के लिए उसे स्कूल को दे दी गई। अब समाजिक कार्यक्रमोंं में भी बाधा उत्पन्न हो रही है।
ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा व्यवस्था बदहाल होती जा रही है। जिसपर ध्यान देने की जरूरत है। वन ग्राम घुघरी में झोपड़ी में स्कूल लगने की जानकारी लगी है। जिसे उच्च अधिकारियों के संज्ञान में लाया जाएगा। जल्द से जल्द भवनी की निर्माण कराने के प्रयास किए जाएंगे।
भूपेन्द्र वरकड़े, शिक्षा समिति सभापति, जपं नारायणगंज
बच्चों के भविष्य से खिलबाड़ नहीं होने दिया जाएगा। इस संबंध में तत्काल संबंधित विभाग से जानकारी ली जाएगी। बच्चों के बैठने की उचित व्यवस्था कराई जाएगी।
अशोक मर्सकोले, विधायक, निवास विधान सभा